मेरे जीते जी कोई उत्तराधिकारी नहीं, माया का एलान
भतीजे आकाश आनंद से छीने सभी पद, भाई पर जताया भरोसा
बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने रविवार को अपने भतीजे आकाश आनंद को राष्ट्रीय समन्वयक पद से हटा दिया, जिन्हें उन्होंने पहले अपना उत्तराधिकारी घोषित किया था और कहा कि जब तक वे जिंदा हैं, तब तक वे किसी को अपना उत्तराधिकारी नहीं बनाएंगी।
आकाश आनंद को एक साल में दूसरी बार उनके पद से हटाया गया है। पिछले साल भी उन्हें बीएसपी के राष्ट्रीय समन्वयक पद से हटाया गया था, लेकिन कुछ महीने बाद उन्हें फिर से बहाल कर दिया गया था।
मायावती ने आकाश आनंद के पिता आनंद कुमार और एक अन्य नेता रामजी गौतम को पार्टी का नया राष्ट्रीय समन्वयक नियुक्त किया है। इससे पहले मायावती ने आकाश आनंद के ससुर और पूर्व राज्यसभा सदस्य अशोक सिद्धार्थ को ‘पार्टी विरोधी’ गतिविधियों में लिप्त होने का आरोप लगाते हुए पार्टी से निकाल दिया था।
यहां बीएसपी के वरिष्ठ नेताओं की बैठक के बाद जारी प्रेस विज्ञप्ति में बीएसपी सुप्रीमो ने कहा कि जब तक वे जिंदा हैं, तब तक किसी को उनका उत्तराधिकारी घोषित नहीं किया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि पार्टी के नेता इस फैसले का स्वागत करते हैं।
उन्होंने कहा, ”मैंने तय किया है कि जब तक मैं जीवित हूं, तब तक कोई उत्तराधिकारी घोषित नहीं किया जाएगा…रिश्ते, परिवार पार्टी हितों से पहले मायने नहीं रखते…मेरे लिए पार्टी पहले है।” मायावती ने कहा कि आनंद कुमार ने तय किया है कि भविष्य में वह अपने बच्चों की शादी राजनेताओं के परिवारों में नहीं करेंगे, ताकि अशोक सिद्धार्थ जैसे लोग पार्टी को ‘नुकसान’ न पहुंचा सकें। उन्होंने स्पष्ट किया कि आकाश आनंद को इसलिए हटाया गया, क्योंकि उन्हें आशंका थी कि उनके फैसले अशोक सिद्धार्थ से प्रभावित थे।
उन्होंने कहा, ”जैसा कि ज्ञात है, आकाश आनंद की शादी अशोक सिद्धार्थ की बेटी से हुई है, यह देखना होगा कि उनका उन पर कितना प्रभाव है…अभी तक यह (प्रभाव) सकारात्मक नहीं लगता।” बसपा सुप्रीमो ने कहा कि आकाश आनंद को हटाए जाने के लिए अशोक सिद्धार्थ जिम्मेदार हैं। उन्होंने कहा, ”उन्होंने आकाश आनंद का राजनीतिक करियर खराब कर दिया है।”