लखनऊ
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के राष्ट्रीय सचिव और प्रदेश अल्पसंख्यक कांग्रेस के निवर्तमान अध्यक्ष शाहनवाज़ आलम ने इलाहाबाद हाईकोर्ट द्वारा अमरोहा के पूर्व डीएम राजेश कुमार त्यागी पर 3 लोगों पर गलत तरीके से गैंगस्टर लगाने के खिलाफ़ कार्यवाई के आदेश को स्वागत योग्य बताया है. उन्होंने डीएम को पद से बर्खास्त करने की मांग की है.

लखनऊ स्थित प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय से जारी बयान में शाहनवाज़ आलम ने कहा कि अमरोहा निवासी तीन लोगों आसिफ़, अनस और चाहत पर बिना गैंगचार्ट तैयार किये और उसे अप्रूव करने की अधिकारियों की संतुष्टि के ही उनपर गैंगस्टर लगा दिया गया था. यहाँ तक की गैंगस्टर मामलों में इलाहाबाद हाईकोर्ट द्वारा जारी गाइडलाइन का भी पालन नहीं किया गया था. उन्होंने कहा कि यह दर्शाता है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कार्यकाल में किस तरह भाजपा को वोट न देने वाले वर्गों के लोगों के खिलाफ़ अवैध तरीके से मुकदमे दर्ज किए जा रहे हैं.

शाहनवाज़ आलम ने कहा कि इस मामले में योगी सरकार को पता था कि हाईकोर्ट से एनएसए हटाने और डीएम के खिलाफ़ कार्यवाई करने का निर्देश दिया जाएगा. इसलिए डीएम को कार्यवाई से बचाने के लिए उसे पहले ही सरकार ने सचिवालय से संबद्ध कर दिया था.

उन्होंने आरोप लगाया कि योगी सरकार में जैसे जाति और धर्म देखकर फ़र्ज़ी एनकाउंटर किए जा रहे हैं उसी तरह एनएसए भी लगाए जा रहे हैं. जिसके खिलाफ़ महंगी कानूनी प्रक्रिया में जाने की आर्थिक स्थिति अधिकतर अभियुक्तों की नहीं होती. ऐसे में इलाहाबाद हाईकोर्ट को योगी सरकार में लगाए गए एनएसए के मामलों की जांच के लिए न्यायिक कमेटी गठित करनी चाहिए.