लखनऊ
रेलवे में नौकरी देने की मांग पर लखनऊ में 17 अक्टूबर को देश भर के कुली प्रतिनिधि इकट्ठा होंगे और सत्याग्रह अभियान की रणनीति बनाएंगे। यह निर्णय आज कुलियों की हुई वर्चुअल बैठक में लिया गया। वर्चुअल बैठक से पहले पूरे दिन देश के सभी डिविजनों, प्रमुख स्टेशनों और जोन से कुलियों ने एक्स पर पोस्ट करके पीएम मोदी और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से नौकरी की मांग को मजबूती से उठाया।

बैठक में वक्ताओं ने कहा कि सरकार की नीतियों की वजह से कुलियों के सामने आजीविका का संकट खड़ा हो गया है। ऐसे में सरकार को कल्याणकारी राज्य के अपने फर्ज को पूरा करना चाहिए और कुलियों को 2008 की तरह एक बार पुन: रेलवे की नौकरी में समायोजित करना चाहिए। कहा कि देश में संसाधनों की कमी नहीं यदि देश के सुपर रिच की संपत्ति पर टैक्स लगाया जाए तो पर्याप्त संसाधन इकट्ठे हो सकते हैं और आसानी से कुलियों की नौकरी पर बजट में आने वाले अतिरिक्त भार को चुकाया जा सकता है। कुली नेताओं ने कहा कि हालत बहुत बुरी है सामाजिक सुरक्षा के लिए जो आदेश खुद सरकार ने दिए हैं उनका अनुपालन नहीं हो रहा और शिक्षा, स्वास्थ्य, वर्दी जैसी सुविधाएं प्राप्त नहीं हो रही। कुलियों के सम्मानजनक जीवन के लिए जारी सत्याग्रह अभियान की आगामी रणनीति बनाने के लिए 17 अक्टूबर को लखनऊ में हर डिवीजन, जोन और स्टेशनों के प्रतिनिधि भाग लेंगे। बैठक का संचालन कुली यूनियन के अध्यक्ष राम सुरेश यादव ने की।

बैठक को फत्ते मोहम्मद, कश्मीरी लाल, जीशान अली, रुस्तम मकरानी, रामबाबू भिलाला,राम महावार,राधेश्याम चौकसी,कलीम मकरानी, गोलू ठाकुर,अनिल रमेश सांवले,नंदू सनप ,राजू टेकम,जितेंद्र यादव, रमेश ठाकुर, चंदेश्वर मुखिया, राज कुमार यादव,शेख रहमतुल्ला, तिरुपति मनी,वैंकटेश,नागेश्वर राव, रफीक, शैलेष, श्रीनाथ, मोहम्मद हाशिम, इमाम साहब, अजमत खान, अरुण कुमार, शांतनु मुखर्जी,जितेंद्र डांगी, नौशाद, वेंकट, रामा राव, करी कृष्णा, जसानाबाई मलिक आदि लोगों ने अपनी बातचीत रखी।