लखनऊ
अल्पसंख्यक कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष शाहनवाज़ आलम ने भाजपा सरकार द्वारा एससी-एसटी आरक्षण में क्रीमी लेयर लागू न करने की बात कहने को दलित समाज और इंडिया गठबंधन के दबाव का परिणाम बताया है.

कांग्रेस मुख्यालय से जारी बयान में शाहनवाज़ आलम ने कहा कि पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट द्वारा 7-1 से दिए गए फैसले में जस्टिस गवई ने एससी-एसटी आरक्षण में क्रीमी लेयर लागू करने का सुझाव दिया था. यह फैसले का ओपरेटीव पार्ट नहीं था. यानी यह लिखित फैसले का हिस्सा नहीं था इसलिए इसे लागू नहीं किया जा सकता था.

शाहनवाज़ आलम ने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है कि एक रणनीति के तहत न्यायपलिका का दुरूपयोग करके इस मुद्दे पर पहले एससी-एसटी वर्ग और विपक्ष की प्रतिक्रिया का अंदाज़ा लगाने के लिए यह नाटक किया गया और जब मोदी सरकार को इसका अंदाज़ा हो गया कि क्रीमी लेयर लगाने का एससी-एसटी वर्ग और कांग्रेस भारी विरोध करने वाले हैं तो अपने ही सांसदों से वार्ता का नाटक करके सरकार पीछे हट गयी ताकि इसका श्रेय भी भाजपा को मिल जाए.

शाहनवाज़ आलम ने कहा कि दलित और वंचित समाज भाजपा की आरक्षण विरोधी मानसिकता को समझ गया है और अब कांग्रेस के नेतृत्व में उसके खिलाफ़ निर्णायक संघर्ष करेगा.