हमारे पास भारत में बनी वैक्सीन नहीं होती तो आज देश में क्या होता? प्रधानमंत्री
नई दिल्ली: पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा है कि कोरोना के खिलाफ हम भारतवासियों की लड़ाई जारी है. हममें से कई ने इस जंग में अपने परिजनों-परिचितों को खोया है. पीएम ने सोमवार को देश के नाम संबोधन में कहा कि बीते 100 सालों में आई यह सबसे बड़ी महामारी है. ऐसी महामारी विश्व ने इससे पहले न देखी थी और न अनुभव की थी. पीएम ने कहा कल्पना करिए कि हमारे पास भारत में बनी वैक्सीन नहीं होती तो आज इस विशाल देश में क्या होता?
पीएम ने यह भी कहा कि 21 जून (विश्व योग दिवस) के बाद से 18 वर्ष से उम्र के सभी नागरिकों के लिए भारत सरकार, राज्यों को वैक्सीन मुहैया कराएगी. वैक्सीन का 75 हिस्सा केंद्र सरकार खरीदकर राज्य सरकारों को मुफ्त मुहैया कराएगी. अपने संबोधन में पीएम ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना को दीपावली तक आगे बढ़ाया जाएगा. हर गरीब को तय मात्रा में नवंबर तक मुफ्त अनाज मिलेगा.
पीएम मोदी ने कहा कि वैक्सीनेशन का 25 प्रतिशत काम जो राज्यों को दिया गया था अब पूरा वैक्सीनेशन केंद्र के नेतृत्व में होगा. पीएम मोदी ने ऐलान किया कि देश में 18+ का वैक्सीनेशन मुफ्त में होगा. पीएम मोदी ने कहा कि निजी अस्पतालों में पैसे देकर वैक्सीनेशन भी जारी रहेगा लेकिन इस दौरान सरचार्ज 150 रुपये से ज्यादा नहीं होगा. पीएम मोदी ने कहा कि जो लोग पैसे देखकर वैक्सीन लगवाना चाहते हैं वो लोग ऐसा कर सकते हैं.
पीएम मोदी बोले पिछले एक साल में भारत ने दो मेड एन इंडिया वैक्सीन लॉन्च की. अब 23 करोड़ से ज्यादा कोरोना टीके लगाए जा चुके हैं. अभी और कोरोना टीके भी आएंगे. नेजल स्प्रे वैक्सीन पर काम चल रहा है. इसमें सफलता मिलती है तो टीकाकरण में और तेजी आएगी. बच्चों के लिए दो कोरोना टीकों पर काम चल रहा है.
अभी हमारे पास भारत मे बनी वैक्सीन नहीं होती तो भारत जैसे विशाल देश में क्या होता. सेकेंड वेव के दौरान अप्रैल और मई के महीने में भारत में मेडिकल ऑक्सीजन की डिमांड अकल्पनीय रूप से बढ़ गई थी. भारत के इतिहास में कभी भी इतनी मात्रा में मेडिकल ऑक्सीजन की जरूरत महसूस नहीं की गई. इस जरूरत को पूरा करने के लिए युद्धस्तर पर काम किया गया. सरकार के सभी तंत्र लगे. मोदी बोले कि सरकार ने मिशन मोड पर काम किया.
पिछले काफी समय से देश लगातार जो प्रयास और परिश्रम कर रहा है, उससे आने वाले दिनों में वैक्सीन की सप्लाई और भी ज्यादा बढ़ने वाली है. आज देश में 7 कंपनियाँ, विभिन्न प्रकार की वैक्सीन्स का प्रॉडक्शन कर रही हैं. तीन और वैक्सीन्स का ट्रायल भी एडवांस स्टेज में चल रहा है.
राज्यों को आईना दिखाते हुए पीएम मोदी ने कहा कि सवाल उठ रहे थे कि वैक्सीनेशन के लिए ऐज ग्रुप क्यों बनाए गए, उम्र की सीमा केंद्र क्यों तय कर रहा है. देश के मीडिया के एक वर्ग ने इसे कैंपेन के रूप में भी चलाया गया. इसके बाद चर्चा की गई और राज्यों की मांग को देखते हुए इस साल 16 जनवरी से चली आ रही व्यवस्था में बदलाव किया गया.
प्रधानमंत्री गरीब अन्न योजना के तहत पीएम मोदी ने एक दूसरा बड़ा ऐलान किय़ा. बताया गया कि पहले मई और जून में फ्री राशन की बात कही गई थी. लेकिन अब इस योजना को दिवाली तक आगे बढ़ाया जा रहा है. मोदी बोले कि आज सरकार ने फैसला लिया है कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना को अब दीपावली तक आगे बढ़ाया जाएगा. महामारी के इस समय में, सरकार गरीब की हर जरूरत के साथ, उसका साथी बनकर खड़ी है. यानि नवंबर तक 80 करोड़ से अधिक देशवासियों को, हर महीने तय मात्रा में मुफ्त अनाज उपलब्ध होगा.
आज पूरे विश्व में वैक्सीन के लिए जो मांग है, उसकी तुलना में उत्पादन करने वाले देश और वैक्सीन बनाने वाली कंपनियां बहुत कम हैं. कल्पना करिए कि अभी हमारे पास भारत में बनी वैक्सीन नहीं होती तो आज भारत जैसे विशाल देश में क्या होता? आप पिछले 50-60 साल का इतिहास देखेंगे तो पता चलेगा कि भारत को विदेशों से वैक्सीन प्राप्त करने में दशकों लग जाते थे. विदेशों में वैक्सीन का काम पूरा हो जाता था तब भी हमारे देश में वैक्सीनेशन का काम शुरू नहीं हो पाता था
आखिर में पीएम मोदी ने कहा कि जो लोग वैक्सीन को लेकर आशंका पैदा कर रहे हैं, अफवाह फैला रहे हैं. वे लोगों के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं. इनसे सतर्क रहने की जरूरत है. कई जगह कोरोना कर्फ्यू में ढील दी जा रही है. लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि कोरोना चला गया है. हमें सावधान भी रहना है और बचाव के नियमों का सख्ती से पालन करते रहना है. हम सब इस जंग में जीतेंगे. भारत इस जंग में जीतेगा. ऐसा मुझे विश्वास है.