मोहम्मद आरिफ नगरामी शबे कदर में अकवाम की कीमतों का फैसला हुआ और बरकात रब्बानी की सबसे पहली बारिश हुई रमजानुल मुबारक की रातों में से एक रात शबेकदर कहलाती है जो
मोहम्मद आरिफ नगरामी अल्लाह का बड़ा एहसान है कि उसने हमें इंसान बनाया और फिर हमें ईमान अता किया। इंसान बनाकर परदिगार ने हमें दीगर मखलूकात से मुमताज किया और अहम व
मोहम्मद आरिफ नगरामी कुरआन मजीद एक तरफ तो इन्सानी रहुमाई के लिए मोअज्जजाना सतेह की अजीमुल तरबियत किताब है दूसरे उसका पढ़ना सआदत भी है अल्लाह रब्बुल इज्जत के इस कलाम कुरआन
चंद महिला पत्रकारों के चेहरे लखनऊ की पत्रकारिता की शान कहे जाते थे। पांच महिलाओं की रिपोर्टिंग पचास पुरुष पत्रकारों पर भारी पड़ती थी। गुजिश्ता तीन दशक की लखनवी पत्रकारिता का एक
मोहम्मद आरिफ नगरामी इबादत का महीना रमजान आ गया है। रमजान माह में नेक बंदों पर अल्लाह की रहमतें नाजिल होती हैं। रमजान के पाक महीने में अल्लाह बंदों के लिए जन्नत
मोहम्मद आरिफ नगरामी अल्लाह तआला ने सूरह बक़रा में इरशाद फ़रमाया कि ऐ इमान वालो!तुम पर रमज़ान के रोज़े फ़र्ज़ कर दिये गये हैं। जैसा कि तुम से पहले लोगो पर फर्ज़
राजेश सचान, संयोजक, युवा मंच कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर की शुरुआत में ही हालात बेहद खराब हैं। उत्तर प्रदेश में तो हालात बेकाबू होते जा रहे हैं, संक्रमण के दूसरी लहर
रतन शर्गाईस्टर ईसाइयों का महत्वपूर्ण धार्मिक पर्व है। ईसाई धार्मिक ग्रन्थों के अनुसार सलीब पर लटकाए जाने के तीसरे दिन यीशु मसीह पुनर्जीवित हो गए थे। इस पर्व को ईसाई धर्म के लोग