राष्ट्रपति के हाथो नवनीत सहगल ने ‘स्पेशल मेन्शन सर्टीफिकेट अवाॅर्ड’ ग्रहण किया 

लखनऊ: सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा आज नई दिल्ली के विज्ञान भवन में  आयोजित 63वें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार समारोह में राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी द्वारा उत्तर प्रदेश को ’मोस्ट फिल्म फ्रेेन्डली स्टेट अवाॅर्ड’ के अंतर्गत ‘स्पेशल मेंशन सर्टीफिकेट प्रदान किया गया। उत्तर प्रदेश की ओर से नवनीत सहगल, प्रमुख सचिव, सूचना व अध्यक्ष फिल्म बन्धु, उत्तर प्रदेश ने सूचना एवं प्रसारण मंत्री, भारत सरकार अरुण जेटली की उपस्थिति मंे राष्ट्रपति से यह अवाॅर्ड ग्रहण किया। 

ज्ञातव्य है कि यह अवाॅर्ड फिल्म-निर्माण व इससे जुड़ी अन्य गतिविधियों को बढ़ावा देने हेतु फिल्म निर्माताओं को उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा दी जाने वाली बेहतर सुविधाओं के दृष्टिगत प्रदान किया गया है। यह अवाॅर्ड उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा फिल्म-शूटिंग के लिए सिंगल-विन्डो सिस्टम लागू करने, प्रोडक्शन एवं पोस्ट प्रोडकशन से सम्बन्धित सुविधाएँ उपलब्ध कराने, फिल्म निर्माण को बढावा देने के लिए आकर्षक फिल्म सब्सिडी (अनुदान) प्रदान करने, फिल्म-निर्माण की अनुमति हेतु डेडिकेटेड वेब पोर्टल के माध्यम से आॅनलाइन प्रक्रिया लागू करने, फिल्म-प्रोडक्षन एवं पोस्ट-प्रोडकशन से सम्बन्धित सुविधाओं, फिल्म-निर्माण से सबन्धित उपकरणों के आपूर्तिकर्ताओं, फिल्म टैलेन्ट/क्रू तथा फिल्ममेकर्स का डेटाबेस तैयार करने, फिल्म-लोकेशन्स, ऐतिहासिक इमारतों, होटल्स एवं फिल्म निर्माताओं के लिए आवश्यकतानुसार एम्बुलेंस तथा एयर-लिफ्टिंग आदि इमरजेन्सी सेवाओं का डेटाबेस तैयार करने, फिल्म-प्रतिभाओं को बेहतर फिल्म-प्रशिक्षण सुविधाएं उपलब्ध कराने तथा राज्य को बेहतर फिल्म डेस्टिनेशन के रूप में प्रचारित-प्रसारित करने के लिए अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर किए गए प्रयासों के लिए प्रदान किया गया है।

फिल्म अवाॅर्ड प्रदान करने के लिए भारत सरकार के प्रति आभार व्यक्त करते हुए नवनीत सहगल ने बताया कि उत्तर प्रदेश को फिल्म निर्माण का हब बनाने के लिए मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव के कुशल नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने अनेक महत्वपूर्ण कदम उठाये हैं। मुख्यमंत्री के कुशल नेतृत्व व मार्गदर्शन का ही परिणाम है कि उत्तर प्रदेश राज्य को भारत सरकार द्वारा ‘स्पेशल मेन्शन सर्टीफिकेट अवाॅर्ड’ से नवाजा गया है। श्री सहगल ने बताया कि उत्तर प्रदेश मंे निर्मित होने वाली फिल्मों को शासनादेश में निहित आवश्यक औपचारिकताएं पूर्ण करने पर अधिकतम 3.75 करोड़ (तीन करोड़ पहचत्तर लाख) रुपये तक अनुदान दिए जाने का प्राविधान किया गया है। उत्तर प्रदेश के कलाकारों के लिए स्पेशल इन्सेंटिव तथा प्रदेश में फिल्म प्रोडक्शन एवं पोस्ट प्रोडक्शन कराये जाने पर अतिरिक्त अनुदान की भी व्यवस्था की गयी है। उत्तर प्रदेश के युवा कलाकारों को अपनी प्रतिभा का विकास करने के लिए एफ0टी0आई0 पुणे एवं सत्यजीत रे फिल्म एवं टेलीविजन संस्थान, कोलकाता में प्रशिक्षण हेतु छात्रवृत्ति की व्यवस्था की गई है। 

श्री सहगल ने बताया कि फिल्म नीति के प्रभावी क्रियान्वयन तथा फिल्म  निर्माताओं को आवश्यक सुविधायें उपलब्ध कराने हेतु प्रदेश के सभी जनपदों मंे जिलाधिकारियों की अध्यक्षता में ‘फिल्म-प्रमोशन एण्ड फेसेलिटेशन-कमेटी’ का गठन किया गया है। यह कमेटी फिल्म निर्माताओं द्वारा फिल्म की शूटिंग के लिए प्रार्थना-पत्र प्रस्तुत करने पर शूटिंग स्थल की अनुमति, फिल्म यूनिट की सुरक्षा व्यवस्था, शासकीय गेस्ट हाउस/पर्यटन अतिथि गृह में उनके ठहरने की व्यवस्था तथा षूटिंग के बाद शूटिंग दिवसों के संबंध में जिलाधिकारी कार्यालय से प्रदान किये जाने वाले प्रमाण-पत्र के समयबद्ध निर्गमन आदि का अनुश्रवण करती है तथा जनपद में विभागों के स्तर पर आने वाली कठिनाइयों का त्वरित निराकरण भी कराती है। 

उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री के कुशल मार्गदर्शन एवं प्रेरणा के कारण ही फिल्मों के निर्माण एवं अनुदान हेतु फिल्म बन्धु उत्तर प्रदेश को लगभग 150 प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं। फिल्म बन्धु के गठन के बाद से अब तक 25 फिल्मों को अनुदान दिया जा चुका है और लगभग 15 फिल्मों को मुख्यमंत्री द्वारा शीघ्र ही अनुदान दिया जाएगा। प्रदेश में फिल्म निर्माण को बढ़ावा देने के लिए फिल्म निर्माताओं को समस्त आवश्यक सुविधायें उपलब्ध कराई जा रही हैं और फिल्म-गतिविधियों के उन्नयन के लिए फिल्म निर्माताओं के सुझावों को क्रियान्वित किया जा रहा है।