संसद में बोलने के लिए स्पीकर से लेना पड़ता है आदेश
भाजपा प्रवक्ताओं पर कीर्ति आज़ाद ने साधा निशाना
पटना। भाजपा से छह साल के लिए निलंबित किए गए दरभंगा के सांसद कीर्ति आजाद ने एक बार फिर आवाज बुलंद की है। सांसद ने ट्वीट कर पार्टी प्रवक्ताओं पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि संसद में किसी को बोलने के लिए लोकसभा अध्यक्ष से आदेश लेना पड़ता है।
कीर्ति आजाद ने ट्वीट किया कि मैंने पार्टी के पक्ष को संसद में सपोर्ट किया है और भाजपा के प्रवक्ताओं को बताना चाहता हूं कि वहां कोई भी स्पीकर के आदेश के बगैर नहीं बोल सकता। दूसरे ट्वीट में कीर्ति आजाद ने कहा कि मुझ पर कांग्रेस प्रेसिडेंट के इशारों पर बोलने का आरोप लगाने वाले स्पीकर की कुर्सी के अधिकारों को कमतर आंक रहे हैं। स्पीकर इस बात का निर्णय करते हैं कि कौन बोलेगा।
पिछले दिनों भाजपा सांसद को निलंबित करने के बाद पार्टी के कुछ नेताओं ने उन पर कांग्रेस प्रेसिडेंट सोनिया गांधी के इशारों पर चलने का आरोप लगाया था। भाजपा नेताओं ने कहा था कि सोनिया के इशारों पर कीर्ति आजाद पार्टी के वरिष्ठ नेताओं पर झूठा आरोप लगा रहे हैं।
सांसद के मौजूदा ट्वीट को इसी बाद के जवाब के रूप में देखा जा रहा है। निलंबन पर कीर्ति ने कहा था कि मेरा कोई दोष नहीं है। पार्टी के खिलाफ मैंने कुछ नहीं किया है। पार्टी है या आइएसआइएस, बगैर मेरी बात सुने ही फैसला सुना दिया गया। पार्टी की ओर से दिए गए नोटिस के जवाब के लिए उन्होंने भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी की मदद लेने की बात कही है।