क़ुरबानी के हिस्से में अक़ीक़ा किया जा सकता है
ईद उल अज़हा हेल्पलाइन –आज के सवाल
सवाल: 1किसी व्यक्ति ने कुर्बानी करने की मन्नत मानी और वह काम भी पूरा हो गया तो क्या उस पर कुर्बानी वाजिब हो गयी? मु0 मुस्तकीम, आलमबाग़
जवाब: 1जी हाँ! वाजिब हो गयी।
सवाल: 2कुर्बानी के जानवर की सींग टूट गयी है तो उस पर कुर्बानी हो सकती है? हफीजुल्लाह, मलिहाबाद
जवाब: 2अगर जड़ से नही टूटी है तो कुर्बानी हो जाएगी।
सवाल: 3अगर कोई व्यक्ति लापरवाही और गफलत की वजह से कुर्बानी न कर सका तो अब वह किया करे? सुहैल उस्मानी, हुसैनाबाद
जवाब: 3कुर्बानी के हिसाब के बराबर कीमत गरीब को देना वाजिब है।
सवाल: 4जो आदमी हज करने मक्का शरीफ गया है वो अपनी कुर्बानी कहां करेगा? सैफ़ एडवोकेट
जवाब: 4जो आदमी हज करने गया है वो अपनी कुर्बानी मक्का शरीफ में करेगा।
सवाल: 5क्या कुर्बानी के हिस्से में अक़ीक़ा भी किया जा सकता है? इन्तिजार अली, पारचेवाली गली
जवाब: 5बड़े जानवर में सात हिस्से होते हैं अगर कोई इसमें अकीके का हिस्सा लेता है तो सही है।
गौरतलब है कि दारूल उलूम निजामिया फरंगी महल के अन्र्तगत हर साल की तरह इस साल भी ईद -उल-अज़हा हेल्प लाइन की शुरूआत की गयी है। इस हेल्प लाइन से लोग फोन और वेब साइट के जरिए 15 सितम्बर 2015 से 27 सितम्बर 2015 तक दोपहर 2 बजे से 4 बजे तक कुर्बानी हज व उमरा और अन्य समस्याओं से सम्बंधित सवालात मालूम कर सकते हैं। जिनके जवाबात इमाम ईदगाह लखनऊ मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली नाजिजम दारूल उलूम निजामिया फरंगी महल की अध्यक्षता में उलमाक्राम का एक पैनल देता है। लोग अपने सवालात इन नम्बरों 94150.23970, 93359.29670, 94151.02947, 9236064987, और वेब साइट www.farangimahal.in पर मालूम कर सकते है।