श्रम संगठनों की हड़ताल से जनजीवन प्रभावित
पश्चिम बंगाल में हड़ताल के दौरान हिंसक संघर्ष, 200 से अधिक हिरासत में
नई दिल्ली : श्रम संगठनों की एक दिन की राष्ट्रव्यापी हड़ताल से देश के विभिन्न हिस्सों में सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ। हड़ताल का सबसे अधिक असर कोयला उत्पादन, बैंकिंग कामकाज और परिवहन सेवाओं पर देखने को मिला। पश्चिम बंगाल में हड़ताल के दौरान हिंसक संघर्ष भी हुआ, जिसमें 200 से अधिक लोगों को हिरासत में लिया गया।
यूनियन नेताओं ने दावा किया कि संगठित क्षेत्र के करीब 15 करोड़ कर्मचारी हड़ताल पर रहे। श्रम कानूनों में प्रस्तावित बदलाव और सार्वजनिक उपक्रमों के विनिवेश के खिलाफ 10 केंद्रीय श्रम संगठनों ने हड़ताल का आह्वान किया था। भाजपा के समर्थन वाली भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस( तथा एनएफआईटीयू हालांकि हड़ताल में शामिल नहीं हुईं। हड़ताल का सबसे अधिक असर पश्चिम बंगाल, त्रिपुरा, केरल, कर्नाटक, पुडुचेरी और ओड़िशा में देखने को मिला। दिल्ली, पंजाब, हरियाणा, तमिलनाडु, गोवा, गुजरात, बिहार और झारखंड में हड़ताल का आंशिक असर रहा।
श्रम संघों की देश व्यापी हड़ताल के बीच अधिकांश कोयला श्रमिकों के काम पर न आने से कोयले का दैनिक उत्पादन आज आधा रह गया। सरकारी कोयला कंपनियां रोजाना 17 लाख टन उत्पादन करती है। हड़ताल का आह्वान करने वाली यूनियनों का कहना है कि हड़ताल में करीब चार लाख कोयला कामगार शामिल हुए। यूनियनों की मांग में कोल इंडिया की सरकारी हिस्सेदारी को और कम नहीं किये जाने की मांग भी है।
असम, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और राजस्थान में भी हड़ताल से सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ। हालांकि, देश की वित्तीय राजधानी मुंबई में हड़ताल का अधिक असर नहीं था। वहां सिर्फ बैंकिंग कामकाज पर इसका असर देखने को मिला।
आज की हड़ताल से सबसे अधिक प्रभावित बैंकिंग सेवाएं रहीं। सार्वजनिक क्षेत्र के 23, निजी क्षेत्र के 12 बैकों के अलावा 52 क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक और 13,000 सहकारी बैंकों के कर्मचारी संगठन हड़ताल में शामिल हुए। हालांकि, भारतीय स्टेट बैंक, इंडियन ओवरसीज बैंक, आईसीआईसीआई बैंक, एचडीएफसी बैंक और एक्सिस बैंक के कर्मचारी हड़ताल से दूर रहे। ऑल इंडिया बैंक एम्पलाइज एसोसिएशन के महासचिव सी एच वेंकटचलम ने कहा कि करीब पांच लाख बैंक कर्मचारी और अधिकारी हड़ताल में शामिल हुए।
पश्चिम बंगाल में मुर्शिदाबाद सहित विभिन्न हिस्सों में वाम दलों और तृणमूल कार्यकर्ताओं के बीच झड़प के बाद विभिन्न इलाकों से 200 लोगों को हिरासत में लिया गया। दक्षिण पूर्वी रेलवे और पूर्वी रेलवे की ट्रेन सेवाएं आंशिक रूप से प्रभावित हुईं। लेकिन कोलकाता में मेट्रो रेल सेवाएं सामान्य रहीं। डाक सेवाएं और सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनी बीएसएनएल की सेवाएं भी हड़ताल से प्रभावित हुईं। बयान में कहा गया है कि भाजपा समर्थित बीएमएस के कर्मचारी बीएसएनएल में हड़ताल में शामिल हुए।