जयललिता ने संभाली 5 वीं बार तमिलनाडु की कमान
चेन्नई : अन्नाद्रमुक महासचिव जयललिता ने आज (शनिवार) तमिलनाडु की मुख्यमंत्री के रूप में 5वीं बार शपथ ग्रहण की। इस दौरान राज्यभर में उनके समर्थकों और पार्टी कार्यकर्ताओं ने जश्न मनाया। जयललिता को भ्रष्टाचार के आरोपों के कारण सत्ता छोड़ने के लिए बाध्य होना पड़ा था। वह करीब 8 महीने बाद सत्ता में लौटी हैं।
जयललिता ने यहां मद्रास विश्वविद्यालय शताब्दी सभागार में आयोजित एक सादा समारोह में तमिल भाषा में ईश्वर के नाम पर शपथ ली। इस समारोह में 28 अन्य मंत्रियों ने भी शपथ ग्रहण की। राज्यपाल के. रोसैया ने 67 वर्षीय अन्नाद्रमुक सुप्रीमो को पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई।
इससे पहले जयललिता हरे रंग की साड़ी पहने सभागार पहुंचीं जहां तमिलनाडु के मुख्य सचिव ज्ञानदेसीकन ने एक पुष्पगुच्छ के साथ उनका स्वागत किया। इसके बाद उन्होंने ओ. पनीरसेल्वम, नाथम आर विश्वनाथन और अन्य मंत्रियों का उनके शपथ ग्रहण से पूर्व परिचय दिया।
इस शपथ ग्रहण समारोह में केंद्रीय मंत्री पोन राधाकृष्णन और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय पदाधिकारी एच राजा समेत कई भाजपा नेता शामिल हुए। समारोह में अभिनेताओं रजनीकांत, सरतकुमार और प्रसिद्ध संगीतकार इलैयाराजा समेत कई जानी मानी हस्तियों ने शिरकत की।
गौरतलब है कि पिछले साल 27 सितंबर को बेंगलुरु की एक निचली अदालत ने आय से अधिक 66.66 करोड़ रुपये की संपत्ति के मामले में जयललिता को दोषी ठहराया था जिससे वह मुख्यमंत्री पद के लिए अयोग्य हो गई थीं। हालांकि कर्नाटक उच्च न्यायालय ने 11 मई को उन्हें इन आरोपों से बरी कर दिया था।
तमिलनाडु के राज्यपाल ने पनीरसेल्वम और उनकी मंत्रिपरिषद का इस्तीफा 22 मई 2015 को पूर्वाह्न से स्वीकार कर लिया था। जयललिता को दोषी ठहराए जाने के दो दिन बाद पनीरसेल्वम ने पिछले साल 29 सितंबर को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। पनीरसेल्वम पिछले साल दूसरी बार मुख्यमंत्री बने थे। इससे पहले वर्ष 2001 में लगभग इसी तरह की परिस्थितियों में उन्हें मुख्यमंत्री बनाया गया था जब तांसी मामले में दोषी ठहराये जाने पर जयललिता को इस्तीफा देना पड़ा था। पनीरसेल्वम ने छह महीने बाद वर्ष 2002 में शीर्ष अदालत द्वारा जयललिता को बरी किए जाने के बाद अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। इस बार पनीरसेल्वम का कार्यकाल करीब आठ माह का रहा।
अन्नाद्रमुक विधायक दल की बैठक से पहले ही राज्य भर से आए पार्टी कार्यकर्ता पार्टी मुख्यालय में बड़ी संख्या में एकत्र होने लगे थे। शहर के विभिन्न भागों में पार्टी कार्यकर्ताओं ने जयललिता की वापसी का स्वागत करते हुए होर्डिंग और पोस्टर लगाए थे। इन होर्डिंग और पोस्टरों में लिखा गया था, ‘स्वागत है मां :वरूगा थाये:’, ‘धर्म की जीत हुई’। कई पोस्टरों में शेरनी की तस्वीर के साथ जयललिता की फोटो थी।
जयललिता के आवास तक जाने वाले रास्तों में आम के पत्तों के तोरण और पार्टी के झंडे लगाए गए थे। पोएस गार्डन में सुबह से ही एकत्र महिला कार्यकर्ताओं ने मिठाइयां बांटी और पार्टी प्रमुख के लिए रंगोली सजाई। जयललिता पिछले आठ महीनों में पहली बार सार्वजनिक रूप से सामने आयीं तो हजारों लोगों ने उनका स्वागत किया और उनकी गाड़ी पर फूल बरसाए।