प्ले ऑफ में मुंबई इंडियंस की धमाकेदार इंट्री
सनराइजर्स हैदराबाद को नौ विकेट से रौंदा, फाइनल के लिए मिलेंगे दो मौके
हैदराबाद : मिशेल मैकलेनगन और लेसिथ मालिंगा की अगुवाई में गेंदबाजों के बेजोड प्रदर्शन से सनराइजर्स हैदराबाद को सस्ते में ढेर करने वाले मुंबई इंडियन्स ने आज यहां आईपीएल आठ के क्वार्टर फाइनल सरीखे आखिरी लीग मैच में 37 गेंद शेष रहते हुए नौ विकेट की एकतरफा जीत दर्ज करके शान से प्लेआफ में कदम रखा जहां दूसरे स्थान पर रहने के कारण उसे फाइनल में पहुंचने के दो मौके मिलेंगे.
रायल चैलेंजर्स बेंगलूर और दिल्ली डेयरडेविल्स का मैच बारिश के कारण रद्द होने के बाद यह तय हो गया कि इस मैच में जो भी टीम जीतेगी वह दूसरे स्थान पर रहेगी लेकिन सनराइजर्स ने आसानी से घुटने टेक दिये. उसकी टीम पहले बल्लेबाजी करते हुए 20 ओवर में 113 रन पर ढेर हो गयी। मुंबई ने केवल 13.5 ओवर में एक विकेट खोकर लक्ष्य हासिल कर दिया. पार्थिव पटेल (37 गेंद पर नाबाद 51) और लेंडल सिमन्स (48) ने पहले विकेट के लिये 106 रन जोडकर मैच को एकतरफा बनाया.
मुंबई की यह आठवीं जीत है जिससे उसने अपने लीग चरण का अभियान 16 अंक के साथ समाप्त किया. रायल चैलेंजर्स बेंगलूर और राजस्थान रायल्स के भी उसके समान 16 अंक हैं लेकिन इन दोनों टीमों से अधिक जीत दर्ज करने के कारण मुंबई की टीम चेन्नई सुपरकिंग्स (18 अंक) के बाद दूसरे स्थान पर रही. इस मैच का परिणाम निकलने से मौजूदा चैंपियन कोलकाता नाइटराइडर्स (15 अंक) की प्लेऑफ में पहुंचने की धुंधली उम्मीद भी समाप्त हो गयी.
मुंबई अब 19 मई को पहले क्वालीफायर्स में अपने घरेलू मैदान वानखेडे स्टेडियम में चेन्नई से भिडेगा जबकि राजस्थान और आरसीबी की टीम इसके एक दिन बाद पुणे में एलिमिनेटर में खेलेंगे. सनराइजर्स यदि जीत जाता तो दूसरे स्थान पर रहता लेकिन आखिर में उसने 14 अंक के साथ आईपीएल आठ का अंत किया और अंकतालिका में छठे स्थान पर रहा. उसकी इस स्थिति के लिये मुंबई के गेंदबाज विशेषकर मैकलेनगन (16 रन देकर तीन), मालिंगा (17 रन देकर दो) और जगदीश सुचित (14 रन देकर दो विकेट) जिम्मेदार रहे.
सनराइजर्स के पांच बल्लेबाज दोहरे अंक में पहुंचे जिनमें से केएल राहुल ने सर्वाधिक 25 रन बनाये. डेल स्टेन ने आखिरी क्षणों में 19 रन की नाबाद पारी खेली जिससे टीम 100 रन के पार पहुंच पायी. मुंबई इंडियन्स की सलामी जोडी ने सनराइजर्स के गेंदबाजों को किसी तरह का चमत्कार करने का मौका नहीं दिया. असल में सिमन्स और पार्थिव ने दिखाया की उप्पल स्टेडियम की पिच में किसी तरह की खराबी नहीं थी और इस पर आसानी से रन बटोरे जा सकते थे.
इन दोनों ने कम लक्ष्य के सामने उन्होंने बेफिक्र अंदाज में बल्लेबाजी की. सनराइजर्स को स्टेन पर भरोसा था लेकिन वह अपने दो ओवर के पहले स्पैल में 18 रन दे गये. इनमें सिमन्स के कवर और फाइन लेग पर लगाये गये दो खूबसूरत चौके भी शामिल हैं.
भुवनेश्वर कुमार का पहला ओवर किफायती था लेकिन पार्थिव ने उनके दूसरे ओवर में दो चौके लगाकर हिसाब बराबर कर दिया. पार्थिव इसके बाद अधिक हावी होकर खेले और जल्द ही सिमन्स से आगे निकल गये. उन्होंने कर्ण शर्मा पर लगातार दो चौके लगाये जबकि सिमन्स ने पारी के इस 12वें ओवर में लगातार गेदों पर छक्के जडकर टीम का स्कोर 100 रन के पार पहुंचाया.
पार्थिव अपना अर्धशतक पूरा करने में सफल रहे लेकिन सिमन्स ने कर्ण की गेंद पर कट करने के प्रयास में प्वाइंट पर कैच थमा दिया. कप्तान रोहित शर्मा (नाबाद सात) ने आते ही छक्का जडा जबकि पार्थिव ने विजयी रन बनाया. इस विकेटकीपर बल्लेबाज ने अपनी पारी में नौ चौके लगाये.
इससे पहले डेविड वार्नर का टास जीतकर पहले बल्लेबाजी का फैसला गलत साबित हुआ क्योंकि अभी सात रन बने थे कि उसके दोनों सलामी बल्लेबाज पवेलियन लौट गये थे. शिखर धवन (1) की खराब फार्म जारी रही. मालिंगा ने पारी के पहले ओवर में ही उन्हें यार्कर पर बोल्ड कर दिया. मैकलेनगन के अगले ओवर की पहली गेंद पर वार्नर (छह) ने कैच थमाया. शॉर्ट पिच गेंद पर वह सही टाइमिंग से पुल नहीं कर पाये थे.
इयोन मोर्गन (नौ रन) भी दबाव में नहीं चल पाये. उन्होंने मैकलेनगन की शार्ट पिच गेंद को स्लैश करके डीप स्क्वायर लेग पर खडे लेंडल सिमन्स को कैच का अभ्यास कराया. सनराइजर्स ने पावरप्ले में केवल 29 रन बनाये और इस बीच तीन विकेट गंवाये.
सनराइजर्स के बल्लेबाज काफी दबाव में थे और उनके लिये रन बनाना मुश्किल हो रहा था. ऐसे में सुचित ने पारी के दसवें ओवर में मोएजेस हेनरिक्स (19 गेंद पर 11 रन) और उनका स्थान लेने के लिये क्रीज पर उतरे नमन ओझा (शून्य) को लगातार गेंदों पर आउट करके सनराइजर्स की परेशानियां बढा दी.
राहुल ने अब तक एक छोर संभाल रखा था लेकिन हरभजन सिंह की अतिरिक्त उछाल लेती गेंद को वह अपने विकेटों पर खेल गये. सनराइजर्स की पारी का एकमात्र छक्का जडने वाले आशीष रेड्डी (17) ने हरभजन के बाद कीरोन पोलार्ड की गेंद पर भी लंबा शाट जमाने के प्रयास में अपना विकेट गंवाया. एक समय लग रहा था कि सनराइजर्स की टीम 100 रन तक भी नहीं पहुंच पाएगी लेकिन स्टेन ने विनयकुमार पर लगातार दो चौके लगाकर टीम का स्कोर तिहरे अंक में पहुंचाया.