जिं़दगी पर धूप छांव मैराथाॅन आठ मार्च को
जिंदगी ने धूप छांव मैराथन की पेशकश की है। धूप छांव में दिखाया गया है कि किस तरह अपनी शादी-शुदा जिंदगी के अनुभव अपने बच्चों को एक बेहतर वैवाहिक जीवन जीने में मदद कर सकते हैं। धूप छांव एक रहस्यमय कहानी है, जो इस कश्मकश पर केन्द्रित है, जिसका सामना एक महिला को अपनी शादी को बरकरार रखने के प्रयास में करना पड़ रहा है। धूप छांव मैराथाॅन का प्रसारण रविवार 8 मार्च को सुबह 10 बजे से रात 9 बजे तक जि़ंदगी पर होगा। इसकी कहानी उमेरा अहमद के उपन्यास पर आधारित है, जिसे खास मैराथाॅन रूप में प्रदर्शित किया जा रहा है।
दर्शाया गया है कि किस तरह शादी-शुदा जिंदगी के बारे में एक मां के अनुभव उसकी बेटी के वैवाहिक जीवन को बेहतर बनाने में मदद कर सकते हैं। शो की कहानी दुर्र-ए-शहवार और मंसूर तथा उनकी बेटी शान्दना के इर्द-गिर्द घूमती है। शान्दना एक कामकाजी महिला है और अपनी शादीशुदा जिंदगी से खुश नहीं है। शान्दना अपने अम्मी-अब्बू के सुखद वैवाहिक जीवन से जलती है और उसे यह बात पसंद नहीं है कि रिश्ते को जोड़े रखने में एक पत्नी की हिम्मत, धैर्य और समझ की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। लेकिन जब दुर्र-ए-शाहवर शान्दना को अपनी कहानी सुनाती हैं, तो उसे महसूस होता है कि उसके माता-पिता का शादी-शुदा जीवन उतना सुखद नहीं है, जितना कि वह समझती थी। सनम बलोच और समीना पीरजादा शो में शान्दना और दुर्र-ए-शाहवर की प्रमुख भूमिका में नजर आयेंगी।