‘रचनात्मक’ और ‘सौहार्दपूर्ण’ रही करतारपुर कॉरिडोर की वार्ता
नई दिल्ली: गुरूद्वारा दरबार साहिब जो पाकिस्तान के करतारपुर शहर में स्थित है उसे पंजाब के गुरदासपुर शहर से जोड़ने वाला गलियारा बनाने के लिए तौरतरीकों को लेकर भारत और पाकिस्तान के बीच वार्ता आयोजित की गई ये भारत के अटारी में हुई जिसमें भारत और पाकिस्तान के शिष्टमंडलों ने भाग लिया। वार्ता खत्म होने के बाद भारत और पाकिस्तान ने इसके बारे में एक ज्वाइंट स्टेटमेंट जारी किया।
इस स्टेटमेंट के मुताबिक बताया जा रहा है कि श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए तौर-तरीकों और ड्राफ्ट समझौते पर चर्चा करने के लिए पहली बैठक गुरुद्वारा करतारपुर साहिब में करतारपुर कॉरिडोर का उपयोग करते हुए भारत के अटारी में सौहार्दपूर्ण वातावरण में आयोजित की गई।
भारतीय पक्ष में केंद्रीय गृह मंत्रालय, विदेश मंत्रालय, बीएसएफ, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण और पंजाब सरकार के प्रतिनिधि शामिल हुए। गौरतलब है कि पिछले साल नवंबर में भारत और पाकिस्तान ऐतिहासिक गुरद्वारा दरबार साहिब को गुरदासपुर स्थित डेरा बाबा नानक से जोड़ने के लिए करतारपुर गलियारे का निर्माण करने पर सहमत हुए थे।
गुरूद्वारा दरबार साहिब में सिख पंथ के संस्थापक गुरू नानकदेव ने अपना आखिरी समय व्यतीत किया था। दोनों पक्षों ने प्रस्तावित गलियारे के संरेखण और अन्य विवरणों पर तकनीकी विशेषज्ञों के बीच विशेषज्ञ स्तर की चर्चा की वहीं वाघा में अगली बैठक 2 अप्रैल 2019 को आयोजित करने पर सहमति भी हुई है।
गौरतलब है कि जम्मू कश्मीर के पुलवामा में सुरक्षा बलों पर आतंकी हमला होने, इसके बाद आतंकी गुट जैश ए मोहम्मद के बालाकोट स्थित शिविरों पर भारत की ओर से हवाई हमला किए जाने और फिर पाकिस्तान की ओर से कार्रवाई करने के बाद दोनों देशों के बीच तनाव बहुत बढ़ गया है। इस तनाव के बीच करतारपुर गलियारा मुद्दे पर भारत और पाकिस्तान के अधिकारियों की यह पहली बैठक हुई है।
करतारपुर साहिब पाकिस्तान में पंजाब के नरोवाल जिले में है। रावी नदी के दूसरी ओर स्थित करतारपुर साहिब की डेरा बाबा नानक गुरद्वारे से दूरी करीब चार किमी है। गलियारे के निर्माण के बाद भारतीय सिख श्रद्धालु वीजा के बिना ही करतारपुर स्थित गुरद्वारा दरबार साहिब की यात्रा कर सकेंगे। पाकिस्तान ने इस साल नवंबर में गुरू नानक देव की 550वीं जयंती पर गलियारे को खोलने के लिए प्रतिबद्धता जताई है।
भारत के उप राष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू और पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने पिछले साल 26 नवंबर को गुरदासपुर जिले में करतारपुर गलियारे की आधारशिला रखी थी।दो दिन बाद पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने लाहौर से 125 किमी दूर, नरोवाल में गलियारे की आधारशिला रखी थी।
पंजाब के मंत्रिमंडल ने डेरा बाबा नानक तथा इसके आसपास के हिस्से के सौंदर्यीकरण एवं विकास के लिए डेरा बाबा नानक विकास प्राधिकरण के गठन के लिए एक विशेष प्रस्ताव को मंजूरी दे दी।
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अंतरराष्ट्रीय सीमा के भारतीय हिस्से में एक करतारपुर द्वार स्थापित करने का भी प्रस्ताव है। यह द्वार गुरू नानक देव के 550वें प्रकाश पर्व (जयंती) मनाए जाने के प्रतीक के तौर पर स्थापित किया जाएगा। प्रस्तावित यात्री टर्मिनल इमारत (पीटीबी) परिसर में, करतारपुर साहिब गुरद्वारा जाने के इच्छुक श्रद्धालुओं के लिए सभी आवश्यक सुविधाएं होंगी।