बेन स्टोक्स को ड्रेसिंग रूम से वापस बुलाकर कराई गयी बैटिंग
नई दिल्ली: वेस्ट इंडीज और इंग्लैंड के बीच तीसरे टेस्ट मैच में बेन स्टोक्स के साथ दिलचस्प वाकया हुआ. स्टोक्स पर किस्मत की देवी पूरी तरह मेहरबान थी जो अंपायर ने उन्हें आउट होने के बाद ड्रेसिंग रूम से भी बुला लिया गया जबकि उनके साथी बल्लेबाज जॉनी बेयरस्टो क्रीज तक पहुंच चुके थे. यह सब हुआ ग्रोस आईलेट में खेले जा रहे तीसरे टेस्ट मैच के पहले दिन. अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद्(आईसीसी) के एक बदले हुए नियम ने स्टोक्स को आउट होने से बचा लिया.
संभवत क्रिकेट में ऐसा पहली बार हुआ है जब कोई बल्लेबाज आउट होने के बाद ड्रेसिंग रूम तक पहुंच गया व दूसरा बल्लेबाज मैदान में आ गया हो और इसके बाद ड्रेसिंग रूम में गए बल्लेबाज को बुला लिया गया हो.
दरअसल, इंग्लैंड की पारी का 70वां ओवर वेस्ट इंडीज के अल्जारी जोसफ डाल रहे थे. इस ओवर की आखिरी गेंद शॉर्ट गेंद पर बेन स्टोक्स ने पुल शॉट खेला लेकिन गेंद जोसफ के हाथ में जाकर चिपक गई. इस तरह से स्टोक्स निराश होकर ड्रेसिंग रूम की तरफ रवाना हो गए. उन्होंने इस वक्त 88 बॉल में 52 रन बनाए थे. आउट होने पर वे तेजी से मैदान के बाहर चले गए और उनके साथी जॉनी बेयरस्टो मैदान में आ गए. लेकिन इसी दौरान तीसरे अंपायर ने गेंद जांची तो वह नोबॉल निकली. लेकिन तब तक तो स्टोक्स मैदान से बाहर जा चुके थे ऐसे में उन्हें फौरन बुलाया गया और बेयरस्टो लौट गए.
बेन स्टोक्स ने इस दोहरे जीवनदान का फायदा उठाते हुए दिन का खेल समाप्त होने तक 62 रन बनाकर नाबाद रहे. उन्होंने पांचवें विकेट के लिए जोस बटलर के साथ 124 रन की साझेदारी की. बटलर 67 रन बनाकर नाबाद रहे.
अब सवाल उठता है ऐसा हुआ कैसे? क्योंकि नियम के अनुसार किसी बल्लेबाज के मैदान से बाहर चले जाने पर उसे वापस नहीं बुलाया जा सकता फिर चाहे गेंद नोबॉल ही हो. लेकिन अप्रैल 2017 में क्रिकेट के नियम बनाने वाली संस्था मेरिलबॉन क्रिकेट क्लब ने इस नियम यानी क्रिकेट आचार संहिता की धारा 31.7 में संशोधन किया गया. नया नियम 'गलतफहमी में विकेट छोड़ देने' का एक रास्ता खुला रखता है.
यह नया नियम अक्टूबर 2017 से लागू हुआ था जो सभी बड़े मैचों में टेलीविजन रिप्ले की मौजूदगी होना भी जरूरी बनाता है.
नियम कहता है, 'अगर अंपायर इस बात से संतुष्ट है कि किसी बल्लेबाज को आउट नहीं दिया गया और वह गलतफहमी में बाहर चला है तो वह दखल देते हुए खिलाड़ी को वापस बुला सकता है. ऐसे में अंपायर फौरन उस गेंद को डेड बॉल करार देगा ताकि गेंदबाजी करने वाली टीम आगे कोई कार्रवाई कर सके और बल्लेबाज को बुला लेगा. अगली गेंद डाले जाने से पहले तक अंपायर बल्लेबाज को बुला सकता है बस वह पारी का आखिरी विकेट न हो. पारी का आखिरी विकेट होने की स्थिति में भी बल्लेबाज को वापस बुलाया जा सकता है बशर्ते अंपायरों ने मैदान न छोड़ा हो.'