‘ये महागठबंधन नहीं महामिलावट है’
लोकसभा में विपक्ष की एकजुटता पर पीएम मोदी का हमला
नई दिल्ली: लोकसभा में पीएम नरेंद्र मोदी ने विपक्ष पर जम कर हमला किया है. उन्होंने कहा है कि लोग मिलावटी सरकार के कारनामे तो देख चुके हैं, लेकिन अब तो महामिलावट की तैयारी की जा रही है. पीएम मोदी का इशारा महागठबंधन की तरफ था.
राष्ट्रपति के धन्यवाद प्रस्ताव पर पीएम मोदी ने सदन को करीब 1 घंटे 40 मिनट तक संबोधित किया. इसे पीएम मोदी का सबसे लंबा भाषण माना जा रहा है. इससे पहले पिछले साल राष्ट्रपति के धन्यवाद प्रस्ताव पर पीएम मोदी ने 1 घंटे 31 मिनट का भाषण दिया था.
लोकसभा में पीएम मोदी ने कहा, ''2014 में 30 साल के बाद देश की जनता ने पूर्ण बहुमत वाली सरकार चुनी है और देश अनुभव करता है जब मिलावटी सरकार होती है, तब क्या हाल होता है. अब तो महामिलावट आने वाला है. पूर्ण बहुमत वाली सरकार होती है, तो कितने निर्णय कर सकती है, कितनी गति से आगे बढ़ सकती हैं.''
अगले लोकसभा चुनाव में मोदी सरकार को हराने के लिए पिछले कुछ महीनों से विपक्ष एकजुट होने की कोशिशें कर रहा है. इसी के तहत दो हफ्ते पहले कोलकाता में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक रैली की थी.
रैली का मकसद था मोदी सरकार के खिलाफ विपक्ष की एकजुटता दिखाना. इस रैली में आम लोगों की भारी भीड़ तो थी ही, साथ ही अलग-अलग पार्टी के नेताओं का जमावड़ा भी था. इस मौके पर ममता बनर्जी ने कहा था कि मोदी सरकार की ‘एक्सपायरी डेट’ खत्म हो गई है.
गुरुवार को मोदी ने लोकसभा में ममता की इस रैली का भी ज़िक्र किया. उन्होंने कहा, ''महामिलावट यहां पहुंचने वाले नहीं हैं. आप कोलकाता में इकट्ठा करो. देख लो ये महामिलावट का हाल देखो. केरल में मुंह नहीं देख पाएंगे एक दूसरे का.''
पीएम ने अपने भाषण में कांग्रेस पर भी तंज कसा. उन्होंने कहा, '' ये महामिलावट का नेत़त्व करने वालों को उत्तर प्रदेश में निकाल दिया.'' पीएम का इशारा उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी (SP) और बहुजन समाजवादी पार्टी (BSP) की तरफ था. लोकसभा चुनाव के लिए SP और BSP ने उत्तर प्रदेश में गठबंधन किया है. इन दोनों दलों ने कांग्रेस को इस गठबंधन से बाहर रखा है. अब कांग्रेस इस गठबंधन के खिलाफ अपना उम्मीदवार मैदान में उतारेगी.
पीएम मोदी ने ये भी कहा कि आज कल समाज में लोग मिलावट से दूर रहते हैं. उन्होंने कहा, ''अब तो जो हेल्थ कॉन्शियस सोसाइटी है वो भी मिलावट से दूर रहते हैं. हेल्दी डमोक्रेसी भी महामिलावट से दूर रहने वाले हैं.''