APCR की क़ानूनी सहायता से लखनऊ ज़िला जेल से 5 ग़रीब बंदी रिहा
लखनऊ: एसोसिएशन फाॅर प्रोटेक्शन आॅफ सिविल राईट (APCR) जो कि दबे-कुचले और वंचित वर्ग को क़ानूनी सलाह देने के लिए हेल्प लाइन, समाजसेवियों के लिए प्रशिक्षण, उत्पीड़ित जनों के क़ानूनी अधिकारों की सुरक्षा-संरक्षा का प्रयास, अन्याय के शिकार लोगों को क़ानूनी सुरक्षा उपलब्ध कराने हेतु प्रोग्राम, शोषण और अन्याय को भारतीय परिदृश्य से मिटाने के लिए कार्यक्रम करती रहती है। इसी क्रम में लखनऊ जेल से 5 निर्धन व्यक्तियों ( विनोद कुमार पुत्र सतीष, रियाज़ू पटवा पुत्र लड्डन, हरि भजन पुत्र संतोष, क़ुद्दूस पुत्र इमामुद्दीन, रंजीत पुत्र राम विलाद जिनका कोई पैरवी करने वाला नहीं था APCR द्वारा क़ानूनी कार्रवाई एवं अनथक प्रयास कर के रिहाइ कराई गई ।
एसोेसिएशन के सचिव एडवोकेट नजमुस्साकिब खाँन ने बताया कि APCR सतत प्रयास से प्रदेश के विभिन्न जेलों से अब तक 62 लोगों की रिहाई कराई है। इस अवसर पर सभी रिहा कराए गए क़ैदियों से शपथ ली गई कि अब वे समाज में सुलिझे हुए और जरित्रवान व्यक्ति के रूप में अपना जीवन व्यतीत करेंगे और समाज की मुख्य धारा में रहते हुए काम करेंगे।
ज्ञात हो कि इससे पहले भी 30 कै़दियों की विभिन्न सूबों के जेलों से रिहाई कराई गई है जिनमें 3 महिला कै़दी भी शामिल हैं। इसके अतिरिक्त ।च्ब्त् लखनऊ और उसके आस-पास के इलाकों के लगभग 2 दर्जन केसेज़ में क़ानूनी मदद कर रही है।
इस अवसर पर जेलर श्री सी.पी. त्रीपाठी जी , डिपटी जेलर श्री हरबंश पाण्डेय, डिप्टी जेलर श्री विनोद कुमार वर्मा ।APCR के सेक्रेटरी नजमुस्साकिब ख़ाँ, ज़िला को आॅर्डिनेटर शान-ए-इलाही , एडवोकेट मुथलेश कुमार शर्मा एडवोकेट अहमद रुशदान, एडवोकेट साजिद खाँन। जेल प्रसाशन का भरपूर सहयोग रहा।