कोच्चि: केरल में आई सदी की सबसे बड़ी बाढ़ से लोग उबरने की कोशिशों में लगे हैं. बाढ़ से तबाह हुए केरल और वहां के लोगों का हाल चाल जानने मंगलवार को राहुल गांधी भी केरल पहुंचे और बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा किया. बुधवार को कोच्चि में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर राहुल गांधी ने कहा कि वह केरल में लोगों को सपोर्ट करने आए हैं न कि परिस्थिति पर राजनीति करने. उन्होंने कहा कि मैं यहां सपोर्ट करने आया हूं और राजनीति करने के मकसद से नहीं आया हूं. मैं इस संकट पर कुछ भी नहीं बोलूंगा.

केरल के कोच्चि शहर में पत्रकारों से बात करते हुए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा, "मैंने कल कई कैम्पों का दौरा किया, लोग चिंतित हैं… मैंने केरल के मुख्यमंत्री से भी बात की है… यह अहम बात है कि इस वक्त सरकार लोगों को आश्वासन दे कि उनके घरों को फिर बनाने में सरकार मदद करेगी… जिस मुआवज़े का वादा किया गया है, वह जल्द दिया जाना चाहिए…"

राहुल ने बीजेपी पर भी हमला बोला और कहा कि भारत में दो विजन हैं. एक सेंट्रलाइज्ड विजन और दूसरा डिसेंट्रलाइज्ड. एक विजन सिर्फ एक विचारधार का सम्मान करता है, जो नागपुर का है और दूसरा सभी विचारों, संस्कृति, देश के विभिन्न लोगों का सम्मान करता है. लड़ाई उसी से जारी है.

केरल में केंद्र की मदद पर राहुल गांधी ने कहा कि केंद्र सरकार से केरल को और मदद की जानी चाहिए थी. यह केरल के लोगों का कर्ज है. यह उनका हक है. मैं दुखी हूं कि केंद्र सरकार ने उतनी मदद नहीं की, जितनी करनी चाहिए थी.

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी मंगलवार को एर्नाकुलम पहुंचे. यहां राहुल ने राहत शिविर जाकर बाढ़ पीड़ितों से बात की और उनका दर्द जाना. राहुल गांधी दो दिन के दौरे पर हैं. राहुल कल चेंगन्नूर, एलेप्पी और अंगमालि भी जाएंगे. बुधवार को राहुल वायनाड जाकर बाढ़ पीड़ितों से मिले. केरल में विनाशकारी बाढ़ के 15 दिन बाद भी 3.42 लाख से ज्यादा लोग राहत शिविरों में रह रहे हैं. इस बाढ़ ने दक्षिण राज्य में तबाही मचाई है और साढ़े तीन सौ से अधिक लोगों की जान ले ली है और हजारों को बेघर कर दिया है.