नई दिल्ली : चालू वित्त वर्ष की अक्टूबर -दिसंबर तिमाही में सकल घरेलू उत्पाद (GDP) की वृद्धि दर भले ही 7.2 प्रतिशत रही हो. लेकिन टेलीकॉम कंपनी एयरसेल (Aircel) ने गुरुवार को कहा कि उसने दिवालिया प्रक्रिया के लिए आवेदन किया है. एयरसेल की तरफ से कहा गया कि 'भारी वित्तीय दबाव वाले' उद्योग में वह 'संकट के दौर' से गुजर रही है इसलिए यह आवेदन किया गया है. एयरसेल ने बयान में कहा है कि एक नई कंपनी के 'विध्वंसकारी' आगमन के बाद कड़ी प्रतिस्पर्धा, कानूनी और नियामकीय चुनौतियों व बढ़ते घाटे के कारण कंपनी की 'साख व कारोबार पर काफी नकारात्मक असर' पड़ा.

कंपनी का कहना है कि निदेशक मंडल (कारपोरेट डेब्टर) ने ऋणशोधन व दिवाला संहिता 2016 की धारा 10 के तहत एयरसेल सेल्यूलर, डिशनेट वायरलेस, एयरसेल लिमिटेड के लिए कारपोरेट ऋणशोधन समाधान प्रक्रिया शुरू करने का आवेदन किया है. सूत्रों के अनुसार यह आवेदन मुंबई में राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण एनसीएलटी में किया गया है. कंपनी के बयान में यह भी कहा गया है कि वायरलेस कारोबार को अन्य कंपनी के साथ मिलाने के प्रयासों का कोई परिणाम नहीं निकला.

एयरसेल ने कहा, 'कर्जदाताओं और शेयरधारकों के साथ विस्तृत बातचीत के बाद भी कर्ज और वित्तपोषण को लेकर कंपनी किसी आमसहमति पर नहीं पहुंच सकी. विचार विमर्श और जनवरी 2018 में रणनीतिक रिण पुनर्गठन योजना को अमल में लाने को लेकर बातचीत के बावजूद कोई समझौता नहीं हो सका.' कंपनी ने कहा है कि उसका मानना है कि मौजूदा परिस्थितियों में दिवाला और रिणशोधन अक्षमता कानून के तहत समाधान प्रक्रिया को अपनाना 'उचित कदम' होगा.

इस सबके बीच एयरसेल का सिम यूज करने वाले उपभोक्ता परेशान हैं. पिछले कुछ दिनों से कंपनी के सर्वर के काम नहीं करने की खबर आ रही है. सभी सर्किल में एयरसेल के सिम काम नहीं कर रहे हैं. बंद होने से पहले ही कंपनी के सर्वर ने काम करना बंद कर दिया है. ऐसे में यह साफ नहीं है कि कंपनी के उपभोक्ताओं का क्या होगा. क्या इन्हें नंबर को किसी और नेटवर्क पर ट्रांसरफर किया जाएगा या कुछ और. अभी तक यह साफ नहीं है.