शिवपाल ने किया लोहिया के भाषणों की सीडी व वेबसाइटों का विमाचन
लखनऊ: डा० राममनोहर लोहिया की पुण्यतिथि के उपलक्ष्य में प्रख्यात समाजवादी नेता शिवपाल सिंह यादव ने समाजवादी चिन्तक व चिन्तन सभा के अध्यक्ष दीपक मिश्र द्वारा संपादित लोहिया के 50 ऐतिहासिक भाषणों एवं “समाजवाद जानो अभियान“ के तहत तीन वेबसाइटों www.lohiaji.in, www.samajwad.in और www.thesocialism.in का विमोचन लोहिया ट्रस्ट परिसर में किया। इसके अतिरिक्त समाजवादी बौद्धिक सभा के 1, रायल होटल स्थित शिविर कार्यालय पर “21वीं सदी में लोहिया व समाजवाद“ विषयक परिचर्चा को संबोधित करते हुए दीपक मिश्र ने कहा कि भारत का सर्वतोन्मुखी व सर्वग्राही विकास लोहिया द्वारा प्रतिपादित समाजवाद से ही सम्भव है। लोहिया ने चन्द्रशेखर आजाद, भगत सिंह, नेताजी सुभाष चन्द्र बोस व महात्मा गाँधी के शोषण विहीन समतामूलक समाजवादी समाज के स्वप्न को मूर्तरूप देने के लिए समाजवादी सिद्धांत की व्याख्या की। महात्मा गाँधी की तरह लोहिया भी विकेन्द्रीकरण के प्रबल पक्षधर थे। आर्थिक विषमता को भारतीय अर्थव्यवस्था की सबसे बड़ी समस्या मानते थे। लोहिया ने प्रजातंत्र को मजबूत करने के लिए कई बार जनांदोलन किए। वे एकमात्र आजादी के ऐसे योद्धा थे जिन्होंने आजाद भारत में सत्याग्रह कर गिरफ्तारी दी। लोहिया सही मायने में वैश्विक नेता थे, अमरीका में रंगभेद के खिलाफ़ आवाज उठाया और गिरफ्तार हुए। उन्होंने कई देशों में चल रहे समाजवादी आन्दोलन को नई दिशा दी। गोवा की स्वतंत्रता एवं मणिपुर में विधानसभा के गठन की लड़ाई लोहिया ने शुरू की थी। भारत में बढ़ती आर्थिक विषमता के प्रति लोहिया ने पहले चेता दिया था। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अनेक अवसरों पर लोहिया को अपना आदर्श बता चुके हैं किन्तु लोहिया को “भारत-रत्न“ से विभूषित करने में देरी व हिचक, उनकी कथनी व करनी को अभिव्यक्त करती है। लोहिया को भारत-रत्न सम्मान देकर प्रधानमंत्री इतिहास त्रुटि को संशोधित करें। समाजवादियों द्वारा लोहिया को “भारत-रत्न“ दिलाने और समाजवादी विचारधारा पर व्यापक विचार-विमर्श हेतु अभियान चलाया जाएगा।
परिचर्चा में प्रो० पंकज कुमार, डा० गिरीश यादव, मो० अनीस, वरिष्ठ समाजवादी नेता व एनवीएम के संयोजक राजीव गुप्ता, सबौस के महासचिव अभय यादव, हिन्दी शिक्षक मंच के अध्यक्ष दीपक राय, दिनेश त्रिपाठी, भारतीय लोक स्वास्थ संघ के अध्यक्ष देवी प्रसाद यादव समेत कई बुद्धिजीवियों व समाजवादियों ने भाग लिया।