लखनऊ:उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सरकारी योजनाओं के तहत आवंटित की जा रही धनराशि का जनहित में पूर्ण उपयोग किया जाए। इन परियोजनाओं के क्रियान्वयन में भ्रष्ट और दागी लोगों को कोई महत्व न दिया जाए। उन्होंने कहा कि सरकारी धन जनता का धन है और इसका दुरुपयोग हर हाल में रोका जाए। उन्होंने कहा कि विकास का मतलब फिजूलखर्ची नहीं है।
मुख्यमंत्री ने यह निर्देश आज यहां शास्त्री भवन में आयोजित एक समीक्षा बैठक के दौरान दिए। उन्होंने कहा कि सभी परियोजनाओं को हर हाल में निर्धारित समय सीमा में पूरा किया जाए। यह भी सुनिश्चित किया जाए कि आवंटित धन का सदुपयोग हो और किसी भी दशा में पी0एल0ए0 में धनराशि न रखी जाए। उन्होंने अपने मंत्रिमण्डल के सहयोगियों के साथ-साथ वरिष्ठ अधिकारियों को स्थलीय निरीक्षण करने के निर्देश दिए, ताकि परियोजनाओं के खर्च का वेरिफिकेशन किया जा सके। दागी लोगों को ठेकों से दूर रखा जाए, क्योंकि ऐसे लोग अराजकता का माहौल पैदा करते हैं। भ्रष्टाचार पर लगाम लगाई जाए और यह भी सुनिश्चित किया जाए कि सरकार के किसी भी विभाग में अराजकता का माहौल न हो, ताकि अधिकारी/कर्मचारी अपने दायित्वों का भली-भांति निर्वहन कर सकें।
श्री योगी ने कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा नई कार्य संस्कृति लागू की गई है, जिसका हम अनुसरण करेंगे। राज्य सरकार लोगों को भ्रष्टाचार से मुक्त गुड गवर्नेन्स देना चाहती है। ऐसे में यह आवश्यक है कि फाइलों की इण्डेक्सिंग हो और कोई भी फाइल तीन दिन के अन्दर निस्तारित होकर सम्बन्धित विभाग से अधिकतम सात दिन के अन्दर वापस आ जाए। इससे आम जनता को काफी सुविधा होगी।