गोवा: पार्रिकर को कोसने वाले ने ही उन्हें फिर बनाया सीएम
मुंबई: गोवा में तमाम राजनीतिक उठापटक के बीच सरकार का असली भार जिनके कंधों पर है, उनमें गोवा फॉरवर्ड पार्टी के विजय सरदेसाई प्रमुख हैं. बीजेपी की सरकार गोवा फॉरवर्ड पार्टी के 3 विधायकों के समर्थन पर टिकी होगी. गोवा में 13 विधायक चुनकर लाने वाली बीजेपी के साथ महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी का आना लाज़मी था. गोवा की राजनीति में लंबे समय से बीजेपी और एमजीपी एकदूसरे के साथी रहे हैं. ऐसे में बीजेपी के विरोध में खड़ी हुई गोवा फॉरवर्ड पार्टी का बीजेपी के साथ आना चौंकाने वाला था.
गोवा फॉरवर्ड पार्टी विजय सरदेसाई की अगुवाई में बना दल है. सरदेसाई पिछले कार्यकाल में निर्दलीय विधायक थे. उन्होंने अपने दल के नाम के तहत 4 सीटें लड़ी और उनमें से 3 सीटों पर विजय पाई. वे कांग्रेस से गठजोड़ करने गए थे. लेकिन, कांग्रेस ने उन्हें दुत्कार दिया जिससे वे नाराज हुए और अब बीजेपी के साथ हैं.
गोवा में जहां एक तरफ़ बीजेपी, कांग्रेस, आप और एमजीपी मौजूद थे तो दूसरी तरफ गोवा फॉरवर्ड पार्टी उनसे टक्कर ले रही थी. पार्टी के टिकट पर शिवोली से विनोद पालिनकर जीते. जहां कांग्रेस ने उम्मीदवार ही नहीं दिया था और बीजेपी के मंत्री दयानंद मान्द्रेकर के खिलाफ़ गुस्सा बहुत था. सालगांव सीट से गोवा फॉरवर्ड के जयेश सालगांवकर जीते. वहां कांग्रेस का उम्मीदवार कमजोर था. और बीजेपी के मुकाबले जयेश मजबूत थे. फातोर्डा में खुद विजय सरदेसाई जीते. वे पिछली बार निर्दलीय विधायक थे. उन्होंने रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर को कोसकर इलाके के ईसाई वोट अपने तरफ मोड़ लिए. समर्थन के गणित में गोवा फॉरवर्ड के नेता विजय सरदेसाई ने कहा है कि मौजूदा स्थिति में मनोहर पर्रिकर एक बेहतर विकल्प हैं जिनके साथ काम किया जा सकता है.
मौजूदा हालात में विजय सरदेसाई ने खुलकर बीजेपी का साथ दिया है. उनके 3 विधायकों के समर्थन के बदले में 2 मंत्री पद दिए जा रहे हैं. विजय सरदेसाई को शहरी विकास इस मलाईदार विभाग का जिम्मा मिलने जा रहा है. सरदेसाई के अलावा विनोद पलनिकर को कला एवं सांस्कृतिक विभाग दिया जा सकता है. अपने समर्थन के ऐलान के बाद मिडिया से बात करते हुए विजय सरदेसाई कह चुके हैं कि वे बीजेपी सरकार पर अपना नैतिक दबाव बरकरार रखेंगे.