पुस्तक मेले उमें हुआ महिलाओं का सम्मान
लखनऊ। पुरानी कहावत है कि दानों में विद्या दान सर्वश्रेष्ठ है। यही दायित्व त्योहारों की इस वेला में मोतीमहल वाटिका लॉन राणाप्रताप मार्ग पर चल रहे गागर में सागर राष्ट्रीय पुस्तक मेले ने सम्भाल रखा है। पांच दिन पूरे कर उत्तरार्ध की ओर बढ़ चले निःशुल्क प्रवेश वाले पुस्तक मेले में जहां आम जनों को रुचि के अनुरूप पुस्तकों की तलाश करते देखा जा सकता है वहीं, सुधी पाठक नये आए प्रकाशनों के स्टालों पर अपने मतलब की किताबें खरीद रहे हैं। आधी आबादी पर केन्द्रित मेले के सांस्कृतिक मंच पर आज विभिन्न क्षेत्रों में योगदान करने वाली महिलाओं को नालेज हब की ओर से सम्मानित किया गया।
मेले में पहली बार आए सस्ता साहित्य मण्डल के स्टाल पर साहित्य के संग ही अन्य विषयों की किताबें हैं। यहां नई किताबों में विज्ञापन और ब्राण्ड, घारण करे तो धर्म, अपने अपने राम, भक्त नामदेव और बापू और उनकी दिनचर्या जैसी किताबें हैं। निखिन प्रकाशन के स्टाल पर इलाचन्द्र जोशी, हबीब इकराम, नासिरा शर्मा आदि की अनेक साहित्यिक किताबों के साथ ही अर्थशास्त्र, समाजशास्त्र, वाणिज्य, प्रबंधन, मनोविज्ञान, भूगोल, शिक्षाशास्त्र विषयों की नवीनतम पुस्तकें हैं। पहली बार आए मंथन प्रकाशन के स्टाल पर युवाओं का रुझान अधिक है। यहां परीक्षा मंथन सीरीज के तहत प्रशासनिक परीक्षाओं के संग ही लगभग सभी विषयों की प्रतियोगी परीक्षाओं में उपयोगी स्तरीय किताबें आकर्षित कर रही हैं। इसके साथ ही वाओ पब्लिकेशन पुणे, प्रथम प्रकाशन, बोधि प्रकाशन, इंडियन मैप सर्विस और जनचेतना की सामग्री पुस्तक प्रेमियों में कौतूहल जगा रही है। काफी समय बाद नवाबी शहर के पुस्तक मेले की शान बने नेशनल बुक ट्रस्ट हिन्दी-अंग्रेजी की नवयुवा विषयों, विज्ञान-सामाजिक विज्ञान, विश्व साहित्य व भारतीय भाषाओं के अनूदित साहित्य की ढेरों किताबों के साथ आए हैं। दीपशिखा के स्टाल पर जेफ्री आर्चर जैसे उपन्यासकारों की किताबों के साथ ही क्लासिक मेडिकल थ्रिलर कोमा सरीखी अंग्रेजी साहित्य की बड़ों और बच्चों की किताबें हैं। भारतीय ज्ञानपीठ भी सर्वश्रेष्ठ साहित्यिक पुस्तकों के साथ मेले में हैं।
महिला सशक्तीकरण पर केन्द्रित पुस्तक मेले में आज शतरूपा सागर सम्मान से महिला सम्मान प्रकोष्ठ पुलिस सेवा की सत्या सिंह, खिलाड़ी व समाजसेवी निगहत खन, लोकगायिका कुसुम वर्मा व प्रकाशन के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य कर रही मनसा पाण्डेय को संरक्षक मुरलीधर आहूजा, संयोजक देवराज अरोड़ा व व्यंग्यकार सर्वेश अस्थाना ने सम्मान पत्र व अंगवस्त्र आदि देकर सम्मानित किया। इससे पूर्व नालेज हब की ओर से संध्या सिंह की अध्यक्षता व मनोज शुक्ल मनुज के संचालन में हुई काव्यगोष्ठी में राखी अग्रवाल, विजय पुष्पम, आभा खरे, निवेदिता श्रीवास्तव ने नारी संवेदना पर आधारित स्वरचित कविताओं को स्वर दिया। इससे पहले ओम नीरव की कृति गीतिका लोक पर चर्चा चली। युवा पण्डाल में बच्चों और नययुवाओं की सर्जनात्मक गतिविधियां संचालित हुईं। इसके साथ ही वी.सी.राय नया की काव्यकृति ‘थिरक उठी है गजल’ का लोकार्पण हुआ।