किसानों का समर्थन कर रहे लोगों को ट्रोल करना निंदनीय: संयुक्त किसान मोर्चा
नई दिल्ली: दिल्ली की सीमाओं पर आंदोलनरत किसानों को काबू में करने के उद्देश्य से सरकार ने कई दिनों से इंटरनेट सेवाओं को बाधित कर रखा है जिससे किसानों और विशेषकर वहां पर रिपोर्टिंग कर रहे पत्रकारों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है| सरकार द्वारा बाधित इंटरनेट सेवाओ को तत्काल बहाल करने की सयुंक्त किसान मोर्चा ने मांग की है। मोर्चे का कहना है कि आंदोलनकारी किसानों के साथ साथ मीडिया और स्थानीय लोगों भी बहुत दिक्कत हो रही है। छात्रों को बहुत परेशानी का सामना करना पड़ रहा है क्योंकि उनकी परीक्षाएं नजदीक है। एक तरफ सरकार डिजिटल इंडिया की बात करती है दूसरी तरफ देश की जनता को इंटरनेट से वंचित रखा जा रहा है।
देश-दुनिया से मिल रहा है समर्थन
देश-दुनिया से किसान आंदोलन को लगातार समर्थन मिल रहा है। शर्म की बात है कि सरकार इसे अंदरूनी मामला बताकर दबाना चाहती है। जो लोग किसानों को समर्थन कर रहे है उन्हें ट्रोल किया जा रहा है जो कि निंदनीय है।
पूर्णतः किसानों का आंदोलन
यह आंदोलन पूर्णतः किसानों का आंदोलन है व किसानों पर लग रहे सभी बेबुनियाद आरोपो को हम खारिज करते है। यह आंदोलन शुरू से ही पूर्ण रूप से अराजनैतिक रहा है व अराजनैतिक रहेगा। किसी भी राजनैतिक दल के नेता को सयुंक्त किसान मोर्चा का मंच नहीं दिया जाएगा। राजनैतिक दलों एवं नेताओ का किसान आंदोलन को समर्थन स्वागतयोग्य है परंतु किसी भी स्थिति में सयुंक्त किसान मोर्चा के मंच पर जगह नहीं दी जाएगी।