सिंधु के स्वागत में लोगों ने बिछाए पलक पाँवड़े
तेलंगाना सरकार ने की 5 करोड़ देने की घोषणा, सरकारी नौकरी का ऑफर भी
हैदराबाद: ओलिंपिक में रजत पदकधारी पीवी सिंधु घर लौट आई हैं. उनका एयरपोर्ट पर शानदार स्वागत किया गया. उनके साथ कोच गोपीचंद भी मौजूद थे. यहां उन पर फूलों की बारिश हुई. वह एक खुली बस में एयरपोर्ट से गच्चीबोवली के जीएमसी स्टेडियम तक गईं, जहां रास्तेभर उन्हें लोगों ने शुभकामनाएं दीं। जीएमसी स्टेडियम पहुंचने पर उनका सम्मान किया गया. राज्य सरकार ने इसके लिए विशेष तैयारियां की थीं.
सिंधु के कोच गोपीचंद ने कहा कि मेरी एकेडमी के सभी खिलाड़ी मेहनत कर रहे हैं। सिंधु लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रही हैं। SAI और भारत सरकार ने काफी सहयोग किया। हमें सिंधु जैसी खिलाड़ी मिली, जिसे आगे बढ़ा सकें। वहीं सिंधु ने कहा कि सभी लोगों का धन्यवाद. आपके सहयोग से यहां पहुंची हूं. कोच गोपीचंद का ख़ासतौर पर धन्यवाद जिनकी वजह से मैं यहां खड़ी हूं. मेरे माता-पिता ने बहुत साथ दिया. आंध्र और तेलंगाना सरकार का धन्यवाद. मैंने ये उम्मीद नहीं की थी कि इतने लोग मेरे स्वागत के लिए यहां आएंगे. मेरे लिए आज खुशी का दिन है. मैं भविष्य में और बेहतर करूंगी और ज़्यादा मेडल जीतने की कोशिश करूंगी.
एयरपोर्ट पर फैन्स काफी संख्या में सिंधु की एक झलक पाने के लिए मौजूद रहे. एयरपोर्ट पर आंध्र और तेलंगाना दोनों सरकारों के अधिकारी सिंधु के स्वागत के लिए मौजूद थे. इस मौके पर हैदराबाद ट्रैफिक पुलिस ने सुरक्षा के मद्देनजर एयरपोर्ट से स्टेडियम के बीच का रूट डायवर्ट किया गया था .
तेलंगाना के सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री केटी रामा राव वरिष्ठ अधिकारियों के साथ इस भव्य स्वागत की अगुवाई कर रहे थे. और इस संबंध में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए.
सिंधु को इस उपलब्धि के लिए बधाई देते हुए तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव ने रविवार को कहा, 22 अगस्त को शहर में उनके यहां पहुंचने के बाद एक भव्य स्वागत किया जाएगा.तेलंगाना सरकार ने सिंधु के लिए पांच करोड़ रुपए के नकद पुरस्कार की घोषणा की थी और उन्हें गाचीबाउली में पुलेला गोपीचंद बैडमिंटन अकादमी के निकट 1,000 वर्ग गज का प्लॉट भी दिया जायेगा.अगर वह इच्छुक हों तो उनके उचित सरकारी नौकरी भी दी जाएगी.सिंधु ने ओलिंपिक में सिल्वर पदक जीता है.
पदक जीतने के बाद पीवी सिंधु ने कहा था कि ओलिंपिक का पदक जीतना मेरा सपना था, लेकिन मैं कभी यह सोचकर नहीं आई थी कि यहां तक पहुंचुंगी. यह मेरे जीवन का बेहतरीन हफ्ता साबित हुआ है. मैं अपने खेल और प्रदर्शन से बेहद खुश हूं. मैं गोल्ड मेडल से चूक गई, फिर भी खुशी है कि अपने सिल्वर मेडल के जरिए भारतीय खेल प्रेमियों के चेहरों पर मुस्कान ला पाई.
उन्होंने कहा कि यहां तक पहुंचने में मेरे माता-पिता का बड़ा योगदान है. उन्हें जीवन में कई बार कई स्तर पर मेरे लिए, अपनी खुशियां छोड़नी पड़ीं. खासकर मेरे कोच और मेरे सपोर्टिंग स्टाफ ने मुझ पर काफी मेहनत की, जिसकी वजह से मैं यहां तक पहुंच पाई. मैं उन सभी का शुक्रिया अदा करना चाहती हूं.