तमिलनाडु सरकार ने हाईकोर्ट में दिया जवाब

नई दिल्ली : एक केस में तमिलनाडु सरकार ने मद्रास हाईकोर्ट में दावा किया कि दिवंगत मुख्यमंत्री जे. जयललिता कभी गर्भवती नहीं हुई थीं. राज्य सरकार ने अपने इस दावे को और पुख्ता करने के लिए कोर्ट में 1980 में रिकॉर्ड किया फिल्मफेयर अवॉर्ड का वीडियो भी पेश किया. ये मामला एक महिला के उस दावे के बाद गर्मा गया था, जिसने ये दावा किया था कि जयललिता उसकी मां हैं. दिसंबर 2016 में तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जे जयललिता का लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया था.

जयललिता की मौत के बाद अमृता नाम की महिला उस समय सुर्खियों में आई थी, जब उसने दावा किया था कि जयललिता उसकी मां हैं. उसके बाद उसने दावा किया कि जयललिता से वह पोएस गार्डन स्थित उनके घर पर वह कई बार मिल चुकी है. इसके बाद ये मामला मद्रास हाई कोर्ट में पहुंच गया.

अमृता ने दावा किया कि उसका जन्म 14 अगस्त 1980 को हुआ था. इसी क्रम में राज्य सरकार ने कोर्ट में 1980 का वीडियो दिखाते हुए कहा, कि इस वीडियो को देखकर नहीं लग रहा कि वह गर्भवती थीं. अमृता की याचिका पर मद्रास हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान तमिलनाडु सरकार के वकील विजय नारायण ने कहा, इस वीडियो को देखकर कोई नहीं कह सकता कि वह अपनी प्रेग्नेंसी के आखिरी महीने में हैं.

इतना ही नहीं अमृता ने जयललिता का बेटी होने का दावा करते हुए खुद के डीएनए टेस्ट की मांग भी की थी. उधर राज्य सरकार ने अमृता के सभी दावों को नकार दिया है. कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई 31 जुलाई तक टाल दी है.