लखनऊ: : योगी आदित्यनाथ सरकार की 'असफलताएं' क्या हैं? मनमोहन सिंह सरकार की 'सफलताएं' क्या थीं? कितनी विधानसभा सीटों से कितनी लोकसभा सीटें बनती हैं.

यह कुछ वो सवाल हैं जो कांग्रेस की ओर से उत्तर प्रदेश का प्रवक्ता बनने के लिए लिखित परीक्षा में पूछे गए थे. करीब 70 लोगों ने यह परीक्षा दी. उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी की ओर ये यह परीक्षा गुरूवार को आयोजित हुई.

यह पूरा टेस्ट पार्टी की राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रियंका चतुर्वेदी और राष्ट्रीय मीडिया को-आर्डिनेटर राहुल गुप्ता की देखरेख में हुआ. प्रदेश इकाई के मुखिया राजबब्बर ने हाल ही में मीडिया टीम भंग कर दी. उम्मीदवारों के लिए टेस्ट चौंकाने वाला रहा क्योंकि गुरूवार को उन्हें पहले से नहीं बताया गया था. वहीं उन्हें सिर्फ यह बताया गया था कि गुरूवार को एक 'महत्वपूर्ण मीटिंग' है.

प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा, 'ऐसे टेस्ट नए नहीं हैं और यह कांग्रेस में होता रहा है. अब हम यूपी में भी इसी तरह का टेस्ट कर रहे हैं. यह कहना गलत होगा कि टेस्ट में मुश्किल प्रश्न पूछे गए थे. ये बुनियादी प्रश्न हैं जिसका एक प्रवक्ता को जवाब आना चाहिए. पीसीसी की नई मीडिया टीम एआईसीसी मीडिया टीम की तरह काम करेगी.'

सूत्रों ने कहा कि टेस्ट और साक्षात्कार आने वाले दिनों में यूपी कांग्रेस कमेटी (UPCC) में बदलाव के लिए तैयार है. पार्टी एक नए राज्य प्रभारी का भी नाम दे सकती है. नए प्रभारी से UPCC को मजबूत करने की उम्मीद होगी. नए प्रभारी पर 209 के लोकसभा चुनावों से पहले बसपा और समाजवादी पार्टी के साथ समन्वय बनाए रखने का भी दारोमदार होगा.

जो छूट गए उनके लिए फिर से होगा रीटेस्ट

राज बब्बर का कहना है कि इस पूरे टेस्ट को कांग्रेस में बड़े उत्साह से लिया गया है और कई ऐसे लोग जो टेस्ट में शामिल नहीं हुए उनके लिए रीटेस्ट होगा. कांग्रेस अध्यक्ष राज बब्बर का कहना है कि इस रीटेस्ट के बाद ये सारी कापियां हाईकमान को भेजी जाएंगी और फिर टेस्ट के नतीजे घोषित किए जाएंगे.