दिल्ली:
दिल्ली दौरे के बाद से बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को लेकर लगातार नए-नए कयासे लगाए जा रहे हैं. पिछले दिनों दिल्ली में अखिलेश यादव से मुलाकात के बाद अब चर्चा हो रही है कि वह यूपी से 2024 का लोकसभा चुनाव प्रयागराज की फूलपुर सीट लड़ सकते हैं. अखिलेश यादव से बयान दिया कि नीतीश कुमार की निगाहें बिहार, यूपी और झारखंड पर पहले टिकी हुई है. इस खबर के बाद सियासी सरगर्मियां तेज हो गई है.

इन कयासों पर जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने मीडिया से कहा कि स्वीकार करने या अस्वीकार करने के लिए कुछ भी नहीं है. फूलपुर की जनता चाहती है उनका हम सम्मान करते हैं, लेकिन नीतीशजी लड़ेंगे या नहीं, यह उनको फैसला करना है.

उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार लोकसभा चुनाव लड़ेंगे या नहीं, यह सही समय पर ही तय किया जाएगा लेकिन नीतीश कुमार को फूलपुर ही नहीं बल्कि अंबेडकर नगर और मिर्जापुर से भी लोकसभा चुनाव लड़ने की पेशकश की गई है. नीतीश कुमार जिस तरीके से विपक्षी दलों को एकजुट करने के काम में जुटे हैं, उसी का नतीजा है कि पार्टी कार्यकर्ता मांग कर रहे हैं कि उन्हें उत्तर प्रदेश से चुनाव लड़ना चाहिए.

ललन सिंह से पूछा गया कि क्या इस खबर में कोई सच्चाई है? इस पर उन्होंने जवाब दिया कि इस वक्त हम इस मामले पर न इकरार करेंगे, ना इनकार. लेकिन इतना तय है कि यूपी एक बड़ा राज्य है. अगर अखिलेश यादव और नीतीश कुमार मिल जाएं तो माहौल पूरी तरह से बदल जाएगा.

ललन सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश 2024 के चुनावों के लिए चुनावी रूप से महत्वपूर्ण राज्य है क्योंकि यहां सबसे अधिक लोकसभा सीटें हैं. उन्होंने कहा कि वर्तमान में भाजपा के पास उत्तर प्रदेश से 65 सांसद हैं. अगर अखिलेश यादव और नीतीश कुमार के साथ-साथ अन्य विपक्षी दल भी साथ आते हैं तो बीजेपी 15-20 सीट पर सिमट सकती है.

जानकारी के मुताबिक पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने नीतीश को उत्तर प्रदेश में अपनी पसंद की किसी भी सीट से लोकसभा चुनाव लड़ने का प्रस्ताव दिया है और अपनी पार्टी के समर्थन का वादा किया है. बताया जा रहा है कि फूलपुर में जनता दल यूनाइटेड के कई कार्यकर्ताओं ने नीतीश से लोकसभा चुनाव लड़ने की मांग की है.