अजय मिश्रा टेनी क्यों बचा रहे हैं प्रधानमंत्री और गृहमंत्री : प्रियंका गांधी वाड्रा
लखनऊ ब्यूरो
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की महासचिव एवं उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी की प्रभारी प्रियंका गांधी वाड्रा ने लखीमपुर किसान नरसंहार कांड में विशेष जांच दल द्वारा कोर्ट में दाखिल रिपोर्ट के संदर्भ में जारी बयान के माध्यम से कहा कि ‘‘लखीमपुर किसान नरसंहार के दो महीने बाद जांच कर रही एसआईटी का कहना है कि गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी के बेटे एवं अन्य आरोपियों ने ‘‘आपराधिक कृत्य लापरवाही एवं उपेक्षा से नहीं, बल्कि जानबूझकर पूर्व सुनियोजित योजना के अनुसार जान से मारने की नीयत से किया था।’’ इस मामले में किसानों ने शुरुआत से ही यह बात कही थी कि गृह राज्यमंत्री के बेटे ने साजिश करके इस घटना का अंजाम दिया था। उच्चतम न्यायालय ने भी घटना की ‘‘ निष्पक्ष और गहन जांच’’ सुनिश्चित कराने को लेकर चिंता जाहिर की थी एवं जांच की ‘‘धीमी गति एवं जांच के तरीके’’ पर अप्रसन्नता व्यक्त की थी।
प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा कि पीड़ित परिवार और हम सत्याग्रह कर रहे लोग पहले ही दिन से मांग कर रहें हैं कि गृह राज्यमंत्री की बर्खास्तगी हो। क्योकि घटना स्थल पर मौजूद लोगों एवं पीड़ित परिवारों का साफ-साफ कहना था कि पूरी साजिश करके हिंसा की गयी और किसानों को कुचला गया। हालाँकि प्रधानमंत्री, गृहमंत्री और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपनी किसान विरोधी मानसिकता का खुला प्रदर्शन करते हुए गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा ‘‘टेनी’’ के साथ मंच शेयर किया एवं उनकों संरक्षण दिया। वे अभी तक अपने पद पर बने हुए हैं और उनके खिलाफ कोई भी कार्यवाही नहीं की गयी है। जबकि इन्हीं अजय मिश्रा ‘‘टेनी’’ ने हत्याकांड से कुछ दिन पहले किसानों को मंच से धमकी देते हुए सबक सिखाने की बात कही थी।
प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा कि अगर एसआईटी खुद भी कह रही है कि ‘‘आपराधिक कृत्य को जानबूझकर पूर्व सुनियोजित योजना के अनुसार जान से मारने की नीयत से किया गया था,’’ तब यह जांच होनी चाहिए कि इस साजिश में गृह राज्य मंत्री की क्या भूमिका थी? यह भी जांच योग्य विषय है कि मोदी जी की सरकार एवं योगी आदित्यनाथ की सरकार ने अब तक गृह राज्यमंत्री जी का संरक्षण क्यों दिया और इस दिशा में जांच क्यों नहीं की? मोदी जी किसानों को आपकी खोखली बातें नहीं सुननी हैं। प्रधानमंत्री होने के नाते उनके प्रति आपकी संवैधानिक और नैतिक जिम्मेदारी है कि आप उन्हें न्याय दिलवायें। लखीमपुर किसान नरसंहार की साजिश गृह राज्य मंत्री की भूमिका की जांच अविलम्ब शुरू करवाईये एवं उन्हें तुरंत बर्खास्त करिये।