दिल्ली में दलित मासूम की रेप के बाद हत्या, जबरन अंतिम सस्कार
टीम इंस्टेंटख़बर
नई दिल्लीः राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में 9 साल की एक दलित मासूम बच्ची का बलात्कार के बाद हत्या और फिर उसको जबरन जलाने का मामला सामने आया है, पहली नज़र में तो यह यूपी के ‘हाथरस कांड’ जैसी घटना लग रही है. इस मामले में चार लोगों की गिरफ़्तारी हुई है.
दिल्ली पुलिस ने इस मामले में दिल्ली कैंट के स्थित श्मशान घाट में नौ साल की बच्ची के साथ बलात्कार करने और उसकी हत्या करने के बाद उसके बाद शव का अंतिम संस्कार करने के आरोप में चार लोगों को गिरफ्तार किया है। एक पुजारी सहित चार आरोपियों ने कथित तौर पर लड़की के शव का उसके माता-पिता की सहमति के बिना या पुलिस को सूचित किए बिना अंतिम संस्कार कर दिया। इससे पहले ये पीड़ित परिवार फरियाद लेकर संबंधित थाने पहुंचा तो वहां पुलिस ने घंटों बैठाए रखा।
मामला जब सोशल मीडिया में उछला और पूर्व सांसद और कांग्रेस प्रवक्ता उदित राज ने जब पीड़िता के परिवार से मुलाकात की तब पुलिस की नींद टूटी।
उदित राज ने ट्वीट कर कहा कि दिल्ली कैंट में पुजारी +3 ने 9 वर्ष की दलित लड़की का बलात्कार करके जला दिया। उन्होंने आगे लिखा, पुलिस ने सुबह से शाम तक माँ-बाप को थाने में बैठाया। निर्भया जैसा जघन्य अपराध है। अंतर है मीडिया & सिविल सोसाइटी ग़ायब है क्योंकि लड़की दलित है। लड़की की माँ से मिला, लड़ाई अंत तक लड़ेंगे।
डीसीपी के मुताबिक रविवार शाम करीब साढ़े पांच बजे श्मशान घाट के पास अपने माता-पिता के साथ रहने वाली बच्ची श्मशान घाट के वाटर कूलर से पानी लेने गई थी। इंगित प्रताप सिंह ने इस बारे में बताया, “चार लोगों ने लड़की की मां से मौत के बारे में पुलिस को सूचित न करने के लिए कहा। उन्होंने उससे कहा कि पुलिस मामला दर्ज करेगी और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा जाएगा, जहां डॉक्टर उसके महत्वपूर्ण अंगों को हटाकर उन्हें बेच देंगे। चार लोगों ने फिर शव का अंतिम संस्कार किया।”
पुलिस के मुताबिक, रविवार रात करीब 200 ग्रामीण श्मशान घाट पहुंचे और सोमवार शाम तक धरना दिया और मांग की कि गिरफ्तार लोगों पर बलात्कार और हत्या का मामला दर्ज किया जाए.दिल्ली पुलिस ने भारतीय दंड संहिता की धारा 302, 376 और 506 के साथ-साथ पोक्सो अधिनियम और एससी / एसटी अधिनियम की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है।