टीम-11 की जगह सीएम योगी की टीम-9 अब करेगी कोरोना से मुकाबला
लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कोविड-19 के खिलाफ संघर्ष प्रभावी ढंग से जारी है। कोविड की अब तक लड़ाई में हमारी टीम-11 ने बहुत अच्छा प्रदर्शन किया। टीम वर्क का ही परिणाम है कि कोविड की पिछली लहर में उत्तर प्रदेश सुरक्षित रहा। बदलती परिस्थितियों के दृष्टिगत टीम-11 को पुनर्गठित करते हुए नई टीम-9 का गठन किया गया है। सभी के सहयोग से हम कोरोना के खिलाफ जंग जीतने में सफल होंगे।
मुख्यमंत्री ने आज वर्चुअल माध्यम से आहूत एक उच्चस्तरीय बैठक में कोविड-19 की स्थिति की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि नवगठित टीम-9 राज्य स्तर पर कोविड प्रबन्धन की विभिन्न गतिविधियों का क्रियान्वयन सुनिश्चित कराएगी। यह टीम नीतिगत निर्णय लेते हुए इन फैसलांे को लागू कराएगी। टीम-11 की तरह ही यह टीम-9 भी सीधे मुख्यमंत्री जी को रिपोर्ट करेगी। मुख्यमंत्री जी टीम-11 के कार्यों की भांति इस टीम के कार्यों की नियमित समीक्षा करेंगे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि कोरोना के उत्पन्न इन चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में हम सभी जनहित में अपना सर्वश्रेष्ठ योगदान देना सुनिश्चित करेंगे। लोगों के उत्तम स्वास्थ्य और सुरक्षित भविष्य के लिए ऐसा करना सभी का सर्वोच्च दायित्व है।
नवगठित टीम-9 जनपदों से संवाद बनाकर प्रतिदिन मुख्यमंत्री जी को रिपोर्ट करेगी। इसके अंतर्गत चिकित्सा शिक्षा मंत्री की टीम द्वारा कोविड बेड्स, मानव संसाधन की उपलब्धता, प्रशिक्षण और टीकाकरण से जुड़े कार्य संपादित कराए जाएंगे। चिकित्सा शिक्षा राज्य मंत्री सहयोग प्रदान करेंगे। इसमें अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य एवं प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा भी शामिल होंगे। स्वास्थ्य मंत्री की टीम जीवन रक्षक दवाओं, मेडिकल किट, टेस्टिंग, एम्बुलेंस से जुड़े कार्यों को देखेगी। इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेन्टर की मॉनिटरिंग भी इनकी जिम्मेदारी होगी। इसमें स्वास्थ्य राज्य मंत्री और अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य भी होंगे। टीम-9 में मुख्य सचिव नियमित संवाद और त्वरित निर्णय लेकर भारत सरकार के साथ समन्वय से जुड़े कार्योंध्पत्राचार आदि का निर्वहन करेंगे।
अपर मुख्य सचिव गृह प्रदेश में ऑक्सीजन की सुचारु उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए प्रमुख सचिव खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन और प्रमुख सचिव परिवहन के सहयोग से कार्य करेंगे। कंटेनमेंट जोन, लॉ एंड ऑर्डर, कोरोना कफ्र्यू, साप्ताहिक बन्दी, कोविड प्रोटोकॉल के प्रवर्तन के लिए पुलिस महानिदेशक के नेतृत्व में कार्य होगा। अपर मुख्य सचिव पंचायतीराज एवं ग्राम्य विकास की टीम स्वच्छता, सैनिटाइजेशन तथा फॉगिंग कार्य और निगरानी समितियों की मॉनिटरिंग एवं पब्लिक एड्रेस सिस्टम नियमित रूप से लागू कराने का कार्य देखेंगे। इसी प्रकार कृषि उत्पादन आयुक्त किसान हित के कार्य, गन्ना, खाद्यान्न वितरण, पशुपालन और कृषि आदि संबंधित कार्यों का सुचारु क्रियान्वयन कराएंगे। अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त प्रदेश में औद्योगिक गतिविधियों के सुगम क्रियान्वयन के लिए जिम्मेदार होंगे। औद्योगिक इकाइयों से इनका सीधा संवाद होग। अपर मुख्य सचिव राजस्व प्रवासी श्रमिकों तथा क्वारन्टीन सेन्टर से संबंधित कार्य देखेंगीं। इसके अतिरिक्त, अपर मुख्य सचिव सूचना टीम-9 के साथ समन्वय स्थापित करते हुए प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक, सोशल तथा डिजिटल मीडिया में कोविड प्रबंध कार्यों का व्यापक प्रचार-प्रयास सुनिश्चित कराएंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि किसी भी सरकारी अथवा निजी अस्पताल में कोरोना मरीज को भर्ती होने के लिए रेफरल लेटर की कोई आवश्यकता नहीं है। कोई भी मरीज सुविधानुसार किसी भी सरकारी अथवा निजी अस्पताल में इलाज के लिए बेड की उपलब्धता के आधार पर भर्ती हो सकता है। यह व्यवस्था प्रभावी ढंग से लागू को जाए। बेड रिक्त होने पर कोई कोविड हॉस्पिटल (निजी और सरकारी) मरीज को भर्ती करने से इनकार नहीं कर सकता। निजी चिकित्सालय में यदि कोई मरीज इलाज का खर्च दे पाने में असमर्थ है तो राज्य सरकार आयुष्मान भारत योजना के तहत अनुमन्य दरों पर उसका भुगतान करेगी। सभी कोविड अस्पतालों में बेड की उपलब्धता के सम्बन्ध में इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेन्टर के पास अद्यतन जानकारी होनी चाहिए।